Bokaro: बोकारो पुलिस ने 2 जून को 7 लोगों की जिस मामले में गिरफ्तारी की थी, उस बारे में शनिवार को पुलिस ने जानकारी दी. एसपी चंदन कुमार झा ने कहा कि यूसीआइएल द्वारा भारत सरकार के गृह मंत्रालय को सौंपे गए रिपोर्ट के अनुसार बोकारो में बरामद पदार्थ यूरेनियम नहीं है. जबकि यूरेनियम की खरीद फरोख्त की सूचना पर दीपक महतो, कृष्णकांत राणा, पंकज कुमार, महावीर महतो, हरेराम शर्मा, बापी चंद्रा और विनोद सिंह को गिरफ्तार किया गया था. उनके पास से बरामद 6.4 किलो पदार्थ को आरोपियों ने रेडियो एक्टिव यूरेनियम बताया था. इस आधार पर केस दर्ज कर उन्हें जेल भेज कर अनुसंधान चल रहा है, जो आगे भी जारी रहेगा.
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पुलिस रिमांड पर लेकर करेगी पूछताछ
एसपी ने कहा कि जांच में यूरेनियम की पुष्टि न होने पर सवाल उठता है कि आरोपियों ने ऐसा क्यों किया. प्रारंभिक जांच में ये तथ्य सामने आए हैं कि आरोपियों का बोकारो पुलिस के पास आपराधिक हिस्ट्री है. कहा कि यूरेनियम जैसे दिखने वाले रेजिंग को इन्होंने यूरेनियम बताकर मार्केट में अफवाह फैलाकर ग्राहक की तलाश शुरू की थी. प्रतिबंधित यूरेनियम की तस्करी या किसी पदार्थ को यूरेनियम बताकर अफवाह के जरिये जांच एजेंसी का ध्यान भटकाना भी अपराध के श्रेणी में आता है. ऐसे में गिरफ्तार आरोपियों के खिलाफ ठोस कार्रवाई निश्चित है. इस मामले में गिरफ्तार आरोपियों को अब पुलिस रिमांड पर लेकर पूछताछ करेगी.
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बता दें कि इस मामले में दो आरोपी अब भी फरार हैं. इसमें निमियाघाट का इशाक भी शामिल है. इधर केंद्रीय एजेंसी ने महाराष्ट्र के ठाणे में तथाकथित यूरेनियम बरामदगी के बाद मानखुर्द के अबू ताहिर की तलाश करते हुए झारखंड पुलिस को सूचित किया था. इस एंगल पर फोकस करते हुए पुलिस मानखुर्द, मुंगेर, निमियाघाट और बोकारो का कनेक्शन खोजने में लगी है.
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