Gopalganj : छात्रा के साथ हुए दुष्कर्म के मामले में दोषी निजी विद्यालय संचालक को विशेष न्यायाधीश पॉक्सो राजेंद्र कुमार पांडेय के कोर्ट ने 20 वर्ष के सश्रम कारावास और 50 हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई है. अर्थदंड नहीं देने पर उसे तीन माह की अतिरिक्त सजा काटनी होगी. इसके साथ ही कोर्ट ने पीड़िता को दो लाख रुपये क्षतिपूर्ति के रूप में देने का आदेश भी दिया है.
छात्रा को कमरे में बुलाकर किया था दुष्कर्म
अभियोजन पक्ष से स्पेशल पीपी पॉस्को दारोगा सिंह दो की दलीलें सुनने के बाद कोर्ट ने सजा सुनाई. सजा सुनाए जाने के बाद दोषी को चनावे मंडल कारा भेज दिया गया. बताया जाता है कि उचकागांव थाने के एक गांव की नाबालिग स्कूली छात्रा 28 सितंबर 2019 को अपने घर से दवनापट्टी गांव में स्थित निजी विद्यालय में पढ़ने गई थी. करीब एक बजे छुट्टी होने के बाद विद्यालय के संचालक ने छात्रा को कमरे में बुलाकर उसके साथ दुष्कर्म की घटना को अंजाम दिया था.
कोर्ट ने गत 13 मई को दोषी करार दिया था
घर लौटने पर छात्रा ने घटना की जानकारी अपनी मां को दी, जिसके बाद विद्यालय के संचालक तथा उचकागांव थाने के डोडापुर गांव के निवासी विपिन साह के खिलाफ उचकागांव थाने में कांड संख्या 236/2019 दर्ज किया गया था. प्राथमिकी दर्ज होने के बाद पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए आरोपित संचालक को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था. मामले में आरोपपत्र दाखिल होने के बाद एडीजे छह सह विशेष न्यायाधीश पॉक्सो के कोर्ट में सुनवाई चल रही थी. अभियोजन पक्ष की ओर से प्रस्तुत किए गए साक्ष्य के आधार पर कोर्ट ने आरोपित विद्यालय संचालक विपिन साह को गत 13 मई को दोषी करार दिया था. गुरुवार को सजा की बिंदु पर हुई. सुनवाई के बाद कोर्ट ने आरोपी को सजा सुनाई.
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