Garhwa : जिले के रंका अनुमंडल क्षेत्र स्थित भौरी ग्राम में जंगली हाथियों का कहर जारी है. लगभग तीन दिनों से हाथियों का झुंड गढ़वा में उत्पात मचा रहा है. कल रात हाथियों ने बुद्ध देव माझी और गोलाउ सिंह के घर को क्षतिग्रस्त कर दिया. साथ ही घर में रखा करीब 6 क्विंटल धान सफाचट कर गये.
एक दिन पहले हाथी ने वृद्ध को कुचलकर मार डाला
बता दें कि गुरूवार को एक हाथी ने रंका के बरवाही में एक वृद्ध को मार डाला था. वृद्ध की पहचान बरवाही निवासी भगवान उरांव के रूप में हुई है. बताया जाता है कि भगवान उरांव काम करके घर लौट रहा था. उसी दौरान हाथी ने उस पर हमला कर उसे कुचल दिया, जिससे वह गंभीर रूप से घायल हो गया. इलाज के दौरान उसकी मौत हो गयी.
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वन पदाधिकारी हाथियों को सघन आबादी से दूर ले जाने का कर रहे प्रयास
वन पदाधिकारी शशि कुमार ने मृतक के परिवार को दाह-संस्कार के लिए दस हजार रुपये दिये. साथ ही शशि कुमार ने चार लाख के मुआवजे के लिए विभाग को पत्र लिखा है. बताया गया है कि सघन आबादी वाले क्षेत्र से हाथियों को दूर ले जाने के लिए शशि कुमार लगातार प्रयास कर रहे हैं. इसके बावजूद रंका के भौरी और आस-पास के क्षेत्र में हाथियों का कहर जारी है.
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पूर्वारा टोला के लोगों ने हाथी के बच्चे को मार दिया था
ग्रामीणों ने घटना के संबंध में बताया कि भौरी ग्राम के पूर्वारा टोला के लोगों ने 19 नवंबर की रात को हाथी के एक बच्चे को मार दिया था. जिसके बाद से हाथियों का झुंड इस क्षेत्र में उत्पात मचा रहा है. सभी हाथी आस-पास के वन क्षेत्रों में नुकसान पहुंचा रहे हैं. हाथियों के झुंड ने किसानों के धान, अरहर, चना और खेतों में लगी फसलों को भी नष्ट कर दिया. साथ ही झुंड ने कई घरों को भी क्षतिग्रस्त किया है.
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हाथियों के आतंक से डरे हुए हैं ग्रामीण
प्रत्यक्ष दर्शियों के मुताबिक, भौरी ग्राम के विभिन्न टोलों में हाथियों के झुंड को सुबह तक देखा गया है. भौरी, बरवाही, बुढापलास, पंडरापानी तथा तिसिया के लोग हाथियों की आतंक से डरे और सहमे हुए हैं. लोग अपने घरों के आस-पास लुकवारी जलाकर रतजगा कर रहे हैं. कुछ लोग सीमावर्ती राज्य छत्तीसगढ में जाकर रात बिताने को विवश हैं.
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