Special Story/Piyush Panday
Hussainabad (Palamu): हुसैनाबाद नगर पंचायत के कुर्मीटोला निवासी बिरेंद्र चौधरी की पत्नी रेणु देवी अपने इलाज के लिए राशन कार्ड बनवाने को लेकर हुसैनाबाद प्रखंड से लेकर जिला आपूर्ती पदाधिकारी के दरवाजे तक चक्कर लगा चुकी है. लेकिन उनका राशन कार्ड में नाम नहीं चढ़ सका है. रेणु काफी दिनो से ब्रेन कैंसर से बीमार चल रही हैं. उनका इलाज बेगलुरू के एक बड़े अस्पताल चल रहा है.
महिला ने बताया कि कहीं भी बड़े अस्पताल में इलाज के लिए राशन कार्ड में नाम रहने की बात अस्पताल प्रबंधक द्वारा कही जा रही है. राशन कार्ड मेरे पति बिरेंद्र चौधरी के नाम से कार्ड निर्गत भी हुआ है. लेकिन कार्ड में न तो मेरा नाम है न मेरे पुत्र व पुत्री का नाम है. कहा कि राशन कार्ड में नाम चढ़ाने के लिए प्रखंड से लेकर जिला मुख्यालय तक कई बार चक्कर लगाया है. अब तक राशन कार्ड में नाम नहीं चढ़ सका है. इससे इलाज नहीं हो सका है. उन्होंने कहा कि अब घर व जमीन बेचने की नौबत आ गई है. अब तक 12 लाख से अधिक रुपए कर्ज लेकर लगा चूकी हूं. कहा कि राशन कार्ड में नाम हो जाता तो ब्रैन कैंसर के इलाज के लिए उन्हें सरकारी स्तर पर सहयोग मिल सकता था.
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डीएसओ को दिया आवेदन
कुछ दिन पूर्व पलामू के जिला आपूर्ति पदाधिकारी से मिलकर उन्हें आवेदन दिया था. लेकिन आवेदन के बाद भी अब तक राशन कार्ड में नाम नहीं दर्ज हो पाना सरकारी तंत्र की नाकामी है. इस संबंध में पलामू जिला आपूर्ति पदाधिकारी से इलाज के लिए भटक रही महिला से संबंध में जानने का प्रयास किया तो उनके द्वारा महिला का आवेदन नहीं मिलने की बात कही गई. जबकि महिला स्वयं डीएसओ से मिलकर आवेदन देना चाहती थी. लेकिन कार्यालय में उपस्थित कर्मियों ने यह कहकर मिलने नहीं दिया कि आवेदन साहब तक पहुंच जाएगा. आज कई वर्षों से कैंसर से पीड़ित महिला राशन कार्ड बनवाने के लिए दर-दर भटक रही है.
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