Ramgarh: भुरकुंडा, भदानीनगर, बासल सहित जिले के ग्रामीण क्षेत्रो में मंगलवार को अक्षय नवमी मनाया गया. मौके पर सामूहिक रूप से महिलाओं ने आंवला वृक्ष की विधि-विधान से पूजा-अर्चना की. साथ ही अपने परिवार व क्षेत्र की सुख-समृद्धि की कामना की. इधर पटेलनगर कॉलोनी के सीसीएल पार्क स्थित आंवला वृक्ष की पुरोहित बृजनंदन वैद्य और पुरोहित हरिहर दुबे ने पूजन किया. पूजा में दर्जनों महिलाएं शामिल हुईं. मौके पर पुरोहित बृजनंदन वैद्य ने बताया कि अक्षय नवमी के दिन आंवला वृक्ष के नीचे भगवान श्रीविष्णु की पूजा की जाती है. पूजा के बाद कुष्मांडा दान करने की परंपरा है. अक्षय नवमी के दिन पूजन और दान करने से अक्षय पुण्य की प्राप्ति होती है.
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पृथ्वी पर सबसे पहले अक्षय नवमी का पूजन ऋषि शर्मा ने किया था
पुरोहित ने बताया कि पृथ्वी पर सबसे पहले अक्षय नवमी का पूजन ऋषि शर्मा ने किया था. मौके पर महिलाओं ने आंवला वृक्ष में कच्चा धाग बांधकर उसकी परिक्रमा की. साथ ही आरती उतारी गई. इसके बाद पुरोहित को कुष्मांडा दान दिया गया. शास्त्रों के अनुसार अक्षय नवमी के दिन आंवला वृक्ष के नीचे सभी लोगों को मीठा भोजन करना चाहिए. इससे अक्षय पुण्य की प्राप्ति होती है और पाप कट जाता है. पूजा के बाद महिलाओं ने ब्राह्मण भोजन कराया. इसके बाद श्रद्धालुओं ने आंवला वृक्ष के नीचे मीठा भोजन किया.
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