Saurav Singh
Ranchi : राज्य के अलग- अलग जिले के थाना में लोगों की शिकायत नहीं दर्ज करने वाले पुलिसकर्मियों पर कार्रवाई हो रही है. पिछले आठ महीने के दौरान आम लोगों की थाना में शिकायत नहीं दर्ज करने वाले राज्य के अलग अलग जिले के थानों में पदस्थापित 30 पुलिसकर्मियों के ऊपर कार्रवाई हो चुकी है. ऐसे पुलिसकर्मियों को अगले दो साल तक किसी भी थाने में पदस्थापित नहीं किया जायेगा. गौरतलब है कि काम में लापरवाही बरतने के मामले में कई थाना प्रभारियों पर इन दिनों कार्रवाई हो रही है. वरीय पुलिस अधिकारियों द्वारा लापरवाही बरतने वाले कई थाना प्रभारियों पर कार्रवाई हो चूकी है.
इसे भी पढ़ें –दिन के 1.00 बजे lagatar से जुड़ें और जानें मेंस एसो. के पदाधिकारियों को सरकार से क्या है उम्मीद
दो साल तक नहीं मिलेगी किसी थाने में पोस्टिंग- डीजीपी
डीजीपी एमवी राव ने कहा कि कोई भी व्यक्ति थाना में मामला दर्ज कराने जाता है तो निश्चित रूप से उसका मामला दर्ज किया जायेगा. अगर किसी भी थाने में पुलिसकर्मियों के द्वारा लोगों की शिकायत नहीं दर्ज की जाती है तो ऐसे पुलिसकर्मियों पर निश्चित रूप से कार्रवाई की जायेगी. और दोषी पुलिसकर्मियों को अगले दो साल तक किसी भी थाने मेंपोस्टिंग नहीं दी जायेगी.
इसे भी पढ़ें –भाजपा ने जिस आयशा को लेकर हेमंत को घेरा, उसी ने कहा- मुझे कुछ हुआ तो बाबूलाल और निशिकांत दुबे जिम्मेदार
ट्विटर के माध्यम से समस्याओं का हो रहा समाधान
झारखंड पुलिस ट्विटर के माध्यम से भी जन समस्याओं का लगातार समाधान कर रही है. राज्य के डीजीपी एमवी राव ने कई समस्याओं का ट्विटर पर ही आदेश देकर समाधान कर दिया है. मालूम हो कि डीजीपी पद का प्रभार संभालते ही एमवी राव ने सभी जिलों के एसपी, सभी रेंज के डीआइजी, सीआइडी और एडीजी को आदेश दिया था. वह ट्वीटर- फेसबुक व दूसरे सोशल साइट्स पर अपनी प्रोफाइल बनायें. इस प्रोफाइल को सक्रिय करते हुए आमलोगों की समस्याओं को ऑनलाइन दर्ज कर कार्रवाई करें. डीजीपी के आदेश के बाद राज्य के सभी जिलों की पुलिस ट्विटर पर सक्रिय हो गयी है. ट्विटर के माध्यम से 24 घंटे न सिर्फ समस्याओं का समाधान हो रहा बल्कि बगैर थाने गए आम लोगों की समस्या का समाधान भी हो रहा है.
इसे भी पढ़ें –रिवर व्यू प्रोजेक्टः सिर्फ बोर्ड हटा, दो एफआइआर के बाद भी न आरोपी को पकड़ा, न अफसरों पर कार्रवाई हुई
शिकायत पर तुरंत हो रही है कार्रवाई
आमलोगों के द्वारा झारखंड पुलिस के ट्विटर पर शिकायत करने के तुरंत बाद ही झारखंड पुलिस के द्वारा संबंधित जिले के एसपी को त्वरित कार्रवाई करने का निर्देश दिया जा रहा है. आमलोग अपनी समस्या अपने जिलों की पुलिस या झारखंड पुलिस के ट्विटर एकाउंट के साथ टैग कर रहे हैं. डीजीपी एमवी राव भी ट्विटर पर सक्रिय हैं. उनके द्वारा खुद भी ट्वीट के जरिए जिलों के एसपी को संबंधित दिशा निर्देश दिये जाते हैं.
इसे भी पढ़ें –बीजेपी को क्यों नहीं है किसान आंदोलन की फिक्र?