Ranchi : असर संस्था कोविड महामारी में फ्रंटलाइन वर्कर्स की तरह काम कर रहे पत्रकारों की मदद के लिए सामने आई. संस्था ने क्लब को 1.5 लाख रुपये की सहायता राशि दी है. असर संस्था एक सामाजिक और वातावरण से संबंधित समस्याओं पर शोध करने वाली संस्था है. जानकारी के अनुसार राशि प्रदान करने में संस्था के मीडिया स्ट्रैटजिस्ट मुन्ना झा का विशेष योगदान रहा है.
क्लब के कॉर्पस फंड में किया जाएगा सहायता राशि का इस्तेमाल
क्लब के सचिव अखिलेश ने असर संस्था की इस मदद के बारे में कहा कि क्लब पत्रकारों के लिए कॉर्पस फंड चलती है. केवल कोविड ही नहीं, दूसरे गंभीर बीमारियों से लड़ने के लिए पत्रकारों को ₹25,000 की सहायता राशि दी जाती है. असर संस्था द्वारा दी गई राशि को इसी फंड में इस्तेमाल किया जाएगा
दवा और ऑक्सीजन उपलब्ध करवाने में मिलेगी मदद
पत्रकारों को कोविड के समय फ्रंट लाइन वर्कर्स की तरह काम करते हुए इसका खतरा भी अधिक था. इसे देखते हुए क्लब में 40 बेड का निःशुल्क कोविड हॉस्पिटल बनाया गया है. पर दवाइयों और ऑक्सीजन मुहैया कराने में खर्च अधिक होता है तो दूसरे संस्थानों से ऐसी मदद एक बड़ी मदद साबित होगी.
पत्रकारों का निःशुल्क और आम लोगों का नो प्रॉफिट नो लॉस के तहत किया जा रहा इलाज़
प्रेस क्लब के हॉस्पिटल में पत्रकार और उनके परिवार का निःशुल्क इलाज़ किये जाने की व्यवस्था है, पर यहां आम लोग भी इलाज़ करवा सकते हैं. क्लब में आम लोगों के लिए नो प्रॉफिट नो लॉस के तहत इलाज की व्यवस्था है. इसके साथ ही क्लब ने जिला प्रशासन की मदद से पत्रकारों और उनके परिवार के लिए वैक्सीनेशन कैम्प लगवाया था, जिसमें 1000 से भी अधिक लोगों का टीकाकरण किया गया
जानें असर संस्था के बारे में
असर संस्था एक सामाजिक एवं वातावरण से संबंधित समस्याओं पर शोध करने वाली संस्था है. संस्था का हेडक्वार्टर बेंगलुरु में है. यह संख्या राज्यों के सरकारों के साथ मिलकर उनके लिए प्लानिंग करती है कि किस तरह उनके राज्य में एनवॉयरनमेंट को सही किया जा सकता है. इसके साथ ही देशभर में एनवायरनमेंटल एनजीओ का यह नेतृत्व भी करती है.