Jamshedpur : साकची के सिख व्यापारी सह एफसीआई के ट्रांसपोर्टर गुरमीत क्लॉथ के मालिक अमरजीत सिंह की टाटा मोटर्स अस्पताल में ईलाज के दौरान मौत हो गई है. गत 16 जुलाई को वे घर से सरायकेला के लिए निकले थे. अगले दिन वे कांड्रा और सरायकेला के बीच में भोलाडीह गांव के पास बेहोश पाए गए थे. उन्हें सरायकेला अस्पताल ले जाया गया, जहां से टीएमएच रेफर कर दिया गया था.
शरीर पर मिले थे जख्म, जहर की मात्रा भी पाई गई थी
डॉक्टरों ने बताया था कि उनके शरीर में जहर की मात्रा पाई गई थी. साथ ही उनके साथ मारपीट भी हुई है. शरीर में चाकू के निशान मिले थे. उनकी हालत में सुधार नहीं होने पर परिजन उन्हें 28 जुलाई को कोलकाता ले गए थे. वहां डॉक्टरों के जवाब मिलने पर रविवार शुक्रवार शाम छह बजे जमशेदपुर आये. यहां उन्हें टाटा मोटर्स में भर्ती कराया गया था. रात 11 बजे उनका निधन हो गया.
रियल इस्टेट धंधे में पसार रहा था पांव
अमरजीत रियल इस्टेट के धंधे में पांव पसार रहा था. पिता मुखिन्दर सिंह रिफ्यूजी कॉलोनी गुरुद्वारा में महासचिव थे. उनकी मौत के बाद बड़ा भाई गुरमीत दुकान संभालने लगा. अमरजीत एफसीआई में ट्रांसपोर्टेशन का काम कर रहा था. अब वह रियल इस्टेट के धंधे में जा रहा था. मनीफिट में फ्लैट बनाने के बाद सिन्नी में जमीन देख रहा था. वहां किसी बिल्डर के साथ जमीन का विवाद होने की बात सामने आ रही है.
अंतिम संस्कार में सीजीपीसी प्रधान सहित समाज के कई प्रतिनिधि जुटे
शनिवार को पंचनामा के बाद शव को पोस्टमार्टम किया गया. रिफ्यूजी कॉलोनी स्थित घर में सीजीपीसी प्रधान गुरमुख सिंह मुखे समेत कई गुरुद्वारों के प्रतिनिधि जुटे. दोपहर बाद शव का दाह संस्कार के लिए ले जाया जा रहा है. परिजनों ने अमरजीत सिंह की हत्या का आरोप लगाया है. घटना के बाद एक बार भी बार पुलिस ने घटना में दिलचस्पी नहीं दिखाई है, इससे परिजनों में बेहद रोष है. सिख समाज अब उनकी हत्या में शामिल लोगों की गिरफ्तारी के लिए आंदोलन करेगा.