Saurav Singh
Ranchi : माओवादियों के द्वारा एंबुश लगाकर ( घात लगाकर हमला करना) किए गए हमले में अब तक 114 पुलिसकर्मी हो चुके हैं. साल 2004 से लेकर अबतक भाकपा माओवादियों नक्सलियों के द्वारा एंबुश लगाकर 12 बड़ी घटनाओं को अंजाम दिया गया है. झारखंड पुलिस और सीआरपीएफ के 114 जवान शहीद हो गए और सैकड़ों जवान घायल हुए.
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जानें कब-कब माओवादियों के द्वारा एंबुश लगाकर हमला किया गया
सारंडा में 29 जवान हुए थे शहीद
साल 2004 झारखंड के चाईबासा के सारंडा में केंद्र और राज्य सरकार द्वारा संयुक्त ऑपरेशनल कमांड अभियान चलाया जा रहा था. इस ऑपरेशन के जवाब में माओवादियों के द्वारा पुलिस को हानि पहुंचाने के लिए सारंडा के जंगली क्षेत्र में साजिश रचा गया. 7 अप्रैल 2004 को जैसे ही पुलिस जंगल के अंदर पहुंची. नक्सलियों ने बारूदी सुरंग विस्फोट कर पुलिस की गाड़ी को उड़ा दिया. जिसमें 23 जवान शहीद हो गए और 24 जवान घायल हो गए थे. इसके अलावा माओवादियों ने पुलिस के 23 हथियार को भी लूट लिया था. इस घटना में चार माओवादी मारे भी गए थे.
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कालापहाड़ में 7 जवान हुए थे शहीद
साल 2016 में झारखंड पुलिस के द्वारा माओवादियों के खिलाफ ऑपरेशन विश्वास चलाया जा रहा था. इसके जवाब में भाकपा माओवादियों ने 28 जनवरी 2016 को पलामू जिला के छतरपुर ब्लॉक स्थित हुसैनाबाद थाना क्षेत्र के काला पहाड़ के पास पुलिस की दो गाड़ियों को निशाना बनाया जिसमें सात जवान शहीद हुए थे और आठ घायल हुए थे.
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धरधरिया में शहीद हुए थे 14 जवान और 62 हुए थे घायल
झारखंड पुलिस द्वारा माओवादियों के खिलाफ साल 2011 में ऑपरेशन ग्रीन हंट बड़े पैमाने पर चलाया जा रहा था. इसके विरोध में 3 मई 2011 को भाकपा माओवादी नक्सलियों द्वारा लोहरदगा जिला के धरधरिया जलप्रपात के पास पुलिस के ऊपर घात लगाकर हमला किया गया और बारूदी सुरंग विस्फोट किया गया. इस हमले में 14 पुलिस के जवान शहीद हुए और 62 घायल हो गए थे.
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सतनदिया नाइट में शहीद हुए थे 11 जवान
3 मई 2011 को गारू डाल्टेनगंज रोड पर लातेहार जिले के सतनदिया गांव के पास तत्कालीन सांसद इंदर सिंह नामधारी के स्कॉर्ट पार्टी पर माओवादियों ने हमला किया था और बारूदी सुरंग लगाकर गाड़ी को उड़ा दिया था. जिसमें सवार 11 पुलिसकर्मी मारे गए थे. जिसके बाद माओवादियों ने आठ इंसास और दो एसएलआर राइफल समेत आठ सौ गोली लूट लिया था.
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भंडरिया में शहीद हुए थे 14 जवान
गढ़वा जिला के भंडरिया इलाके में 21 जनवरी 2012 को भाकपा माओवादी नक्सली ने बारूदी सुरंग विस्फोट कर बुलेट प्रूफ गाड़ी को उड़ा दिया था, जिसमें 14 पुलिसकर्मी शहीद हुए थे. इस दौरान माओवादियों ने 13 आधुनिक हथियार लूट लिए थे.
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सारंडा में शहीद हुए थे पांच जवान
चाईबासा जिले के सारंडा में ऑपरेशन सारंडा के विरोध में माओवादियों ने तीन एंबुश की घटना को अंजाम दिया था. जिसमें 5 पुलिसकर्मी शहीद हुए थे और 12 घायल हुए थे.
अमवाटिकार में शहीद हुए थे 12 जवान
लातेहार जिला के अमवाटिकार में 7 जनवरी 2013 को माओवादी ने घात लगाकर पुलिस पर हमला किया था, जिसमें 12 जवान शहीद हुए थे और 14 घायल हुए थे.
पारसनाथ पहाड़ी में 3 जवान हुए थे शहीद
साल 2016 में गिरिडीह के पारसनाथ इलाका क्षेत्र में भाकपा माओवादी नक्सलियों के खिलाफ ऑपरेशन हिल विजय चलाया जा रहा था. इसी दौरान तीन अप्रैल 2016 को तत्कालीन डीजीपी डी के पांडे के नेतृत्व में हजारों संख्या में पुलिस पारसनाथ पहाड़ी की घेराबंदी कर सर्च अभियान शुरू किया था. इसी दौरान भाकपा माओवादी नक्सलियों ने 7 बार पुलिस पर घात लगाकर हमला किया, जिसमें 3 पुलिसकर्मी शहीद हुए थे और दर्जनों घायल हुए थे.
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ऑपरेशन मानसून के जवाब में हमला से 7 पुलिसकर्मी हुए शहीद
कोल्हान क्षेत्र में झारखंड पुलिस के द्वारा ऑपरेशन मानसून चलाया जा रहा था. इसी दौरान 5 अप्रैल 2018 को भाकपा माओवादी नक्सलियों ने एंबुश लगाकर पुलिस पर हमला किया, जिसमें सात पुलिसकर्मी शहीद हुए थे और पांच घायल हुए थे.
सरायकेला में घात लगाकर किया था पुलिस पर हमला, 5 जवान हुए शहीद
सरायकेला जिले के चांडिल के पास 14 जून 2019 को तिरुलडीह थाना क्षेत्र के कुकडु साप्ताहिक हाट में शाम 5.45 नक्सलियों ने पुलिस के गश्ती दल पर हमला कर दिया था. इसमें दो एएसआई सहित पांच जवान शहीद हो गए थे.
लातेहार में चार जवान शहीद हुए थे
22 नवंबर 2019 को लातेहार जिला के चंदवा के लुकईया मोड़ के समीप पुलिस गश्ती की टीम खड़ी थी. इसी दौरान भाकपा माओवादियों के मोटरसाइकिल दस्ते ने वाहन पर ताबड़तोड़ फायरिंग कर दी थी जिसमें चार जवान शहीद हुए थे.
लांजी नक्सली हमले में चार जवान शहीद हुए थे
चाईबासा जिले के टोकलो थाना क्षेत्र के लांजी गांव स्थित पहाड़ी के क्षेत्र में बीते चार मार्च 2021 को आइडी विस्फोट में झारखंड जगुआर के तीन जवान शहीद हो गए थे. चाईबासा जिले के टोकलो थाना क्षेत्र लांजी पहाड़ी पर नक्सलियों ने पुलिस जवानों पर अत्याधुनिक तरीके से हमला कर दिया था.
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