LagatarDesk : पिछले कई दिन से सोशल नेटवर्किंग साइट ट्विटर और भारत सरकार के बीच विवाद चल रहा है. ट्विटर ने भारत में ‘सोशल मीडिया मध्यस्थ’ का अपना दर्जा भी खो दिया. इसके कारण ट्विटर को भारी नुकसान झेलना पड़ा है. इस अमेरिकी कंपनी के शेयर पिछले चार महीने में करीब 26 फीसदी टूटे हैं.
बुधवार को भी ट्विटर के शेयरों में आयी गिरावट
पिछले तीन-चार महीने में भारत सरकार से लगातार टकराव की वजह से ट्विटर को काफी नुकसान हुआ है. अमेरिका के न्यूयॉर्क स्टॉक एक्सचेंज में बुधवार को ट्विटर का शेयर करीब आधा फीसदी टूटकर 59.93 अमेरिकी डॉलर पर बंद हुआ. हालांकि आज ट्विटर के शेयरों में हल्की तेजी देखी जा रही है. इसके शेयर 0.28 फीसदी की बढ़त के साथ 60.88 अमेरिकी डॉलर पर पहुंच गया है.
26 फरवरी 2021 को रिकॉर्ड ऊंचाई पर थे ट्विटर के शेयर
26 फरवरी 2021 को ट्विटर के शेयर हफ्ते की रिकॉर्ड ऊंचाई 80.75 डॉलर पर पहुंच गया था. लेकिन करीब 4 महीने में इसके शेयरों में करीब 25.78 फीसदी की गिरावट आयी है. ट्विटर का मार्केट कैप घटकर 47.64 अरब डॉलर रह गया. लेकिन भारत सरकार से टकराव जारी रहने के कारण शेयर में गिरावट आने लगी. 13 मई को कंपनी के शेयर टूटकर 50.11 डॉलर के निचले स्तर पर पहुंच गये.
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फरवरी तक कंपनी के शेयरों में रही बढ़त
बता दें कि पिछले साल 13 नवंबर को भारत सरकार ने ट्विटर को एक नोटिस भेजा था. उस नोटिस में इस बात पर आपत्ति जतायी गयी थी कि उसने लेह को लद्दाख की जगह जम्मू-कश्मीर का हिस्सा क्यों दिखाया. इसके बाद सोशल मीडिया पर #BanTwitter ट्रेंड होने लगा था. इसके बावजूद इसके शेयरों में फरवरी तक उछाल देखा गया.
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ट्विटर का ‘सोशल मीडिया मध्यस्थ’ का दर्जा खत्म
केंद्र सरकार की नयी गाइडलाइंस का पालन न करने के कारण ट्विटर को ‘सोशल मीडिया मध्यस्थ’ दर्जा गंवाना पड़ा है. इसके साथ ही ट्विटर ने सूचना प्रौद्योगिकी (IT) अधिनियम के तहत प्राप्त कानूनी कार्रवाई से सुरक्षा खो दी है. मध्यस्थ का दर्जा खोने के बाद ट्विटर पर यूजर्स की पोस्ट की जिम्मेदारी होगी. अब आपत्तिजनक पोस्ट के लिए ट्विटर के खिलाफ कार्रवाई की जा सकेगी.
गाइडलाइंस का पालन करने की हर कोशिश होगीः ट्विटर
मध्यस्थ का दर्जा हटने के मामले पर अपनी प्रतिक्रिया में ट्विटर ने कहा कि हम गाइडलाइंस का पालन करने की हर मुमकिन कोशिश कर रहे हैं. इसके तहत इलेक्ट्रॉनिक्स और आईटी मंत्रालय को प्रक्रिया के तहत उठाये जा रहे हर कदम की जानकारी दी जी रही है. अंतरिम मुख्य अनुपालन अधिकारी की नियुक्ति की जा चुकी है. मंत्रालय के साथ जल्द ही इसकी जानकारी साझा की जायेगी.
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ट्विटर ने नहीं किया नियम का पालन, भेजे गये कई नोटिस
केंद्र सरकार के गाइडलाइंस के बाद सभी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ने इन नियमों का पालन करते हुए अधिकारियों की नियुक्ति कर दी. ट्विटर ने इसे लागू करने में टाल-मटोल की. इसके बाद 26 मई को सरकार ने उसे पहला नोटिस भेजा. 5 जून को ट्विटर को आखिरी नोटिस भेजा गया. 6 जून को ट्विटर ने इसका जवाब देते हुए कहा कि उसने कुछ अधिकारियों की नियुक्त कर दी. एक हफ्ते में मुख्य अनुपालन अधिकारी की नियुक्ति कर दी जायेगी.
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10 दिन बाद तक ट्विटर ने नहीं की नियुक्तिः सरकार
ट्विटर के जवाब के बाद सरकार ने कहा कि ट्विटर ने नियमों के तहत अधिकारियों की नियुक्ति नहीं की. उसने मुख्य अनुपालन अधिकारी की नियुक्ति पर भी 10 दिन बाद भी कोई जवाब नहीं दिया. इन्हीं सब कारणों से ट्विटर का मध्यस्थ का दर्जा छीन लिया गया है.