लगातार मीडिया नेटवर्क New Delhi : आम आदमी पार्टी के सांसद संजय सिंह ने जेल से छूटने के दो दिन बाद शुक्रवार को प्रेस कांफ्रेंस की. जिसमें उन्होंने भाजपा पर गंभीर आरोप लगाये. उन्होंने आरोप लगाया कि शराब घोटाले से जुड़े दो नाम हैं. पहली मगुड्डा रेड्डी, जिसने तीन बयान दिये, उसके बेटे राघव मगुड्डा ने सात बयान दिये. ईडी ने इनसे पूछा कि क्या अरविंद केजरीवाल से मिला था. तो कहा था, हां मिला. लेकिन दूसरे काम के लिए.
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सातवें बयान में वह बदल जाता है और अऱविंद केजरीवाल के खिलाफ बयान देता है
संजय सिंह ने कहा, इसके बाद राघव मगुड्डा को गिरफ्तार कर लिया गया. पांच माह जेल में रहा. इस दौरान उसके सात बयान लिये गये. छह बयानों में अरविंद केजरीवाल के बारे में पूछा जाता है. हर बयान में ना कहा. पांच माह के जेल के बाद वह टूट जाता है. सातवें बयान में वह बदल जाता है और अऱविंद केजरीवाल के खिलाफ बयान देता है. छह बयानों को यह कह कर किनारे रख दिया गया कि ईडी को उस पर भरोसा नहीं है. ईडी उन बयानों को दिखाना नहीं चाहती थी. कोर्ट के आदेश पर वकीलों ने जाकर बयान देखा, तब यह पता चला.
मगुड्डा रेड्डी सांसद हैं, जो पीएम के साथ गलबहियां करते देखे जा सकते हैं
संजय सिंह ने आगे कहा, सवाल यह है कि मगुड्डा रेड्डी औऱ राघव रेड्डी हैं कौन, जिसे ईडी ने शराब घोटालेबाज बताया. एक तसवीर जारी करते हुए कहा, मगुड्डा रेड्डी सांसद हैं, जो भारत के प्रधानमंत्री के साथ गलबहियां करते देखे जा सकते हैं. अरविंद केजरीवाल के खिलाफ बयान देने के दो दिन बाद राघव रेड्डी की जमानत हो जाती है. भारत के प्रधानमंत्री के साथ इस शराब घोटाले बाज का क्या रिश्ता है. आज की तारीख में वह टीडीपी से चुनाव लड़ रहा है और प्रधानमंत्री की तसवीर लगाकर वोट मांग रहा है.
शरद रेड्डी ने पूछताछ में बताया कि अरविंद केजरीवाल से कभी मिला नहीं, उसे गिरफ्तार कर लिया गया
संजय सिंह ने आगे कहाः दूसरा नाम है शरद रेड्डी का है. 9 नवंबर 2022 को शरद रेड्डी से पूछताछ में बताया कि अरविंद केजरीवाल से कभी मिला नहीं. जानता नहीं. 10 नवंबर 2022 को उसे गिरफ्तार कर लिया जाता है. 25 अप्रैल 2023 तक वह जेल में रहा. उससे ईडी ने 12 बयान लिये. इसके बाद वह टूट गया और 25 अप्रैल को केजरीवाल के खिलाफ बयान दे दिया. उसके 10 बयान को अविश्सनीय बता दिया गया. कोर्ट के आदेश पर सारे बयान पढ़े गये. तब पता चला कि किसी में भी अरविंद केजरीवाल का नाम नहीं लिया. फिर उसकी बेल हो जाती है. भाजपा और ईडी उसे शराब का घोटालेबाज बताती है.
संजय सिंह ने कहा, असली घोटाला शुरू हुआ ईडी की जांच शुरु होने के बाद
संजय सिंह ने आरोप लगाया कि दरअसल, असली घोटाला शुरू हुआ ईडी की जांच शुरु होने के बाद. पहली पेशगी या नजराना 15 नवंबर को पांच करोड़ का भाजपा को मिला. फिर कुल 55 करोड़ दिये. जिसे किंगपिन बताते थे, उससे 55 करोड़ रुपये लिये. यही है शराब घोटाले का मनी ट्रेल, जो सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर 21 मार्च 2024 को इलेक्ट्रॉल बॉण्ड के खुलासों से सबको पता चल गया है. 21 मार्च की शाम 6.45 बजे इस मनी ट्रेल का खुलासा होता है और 7.15 बजे मुख्यमंत्री केजरीवाल के घर पर ईडी की छापामारी शुरु हो जाती है. और ढ़ाई घंटे बाद उन्हें गिरफ्तार कर लिया जाता है. तो असली बात यह है कि शराब घोटाला भाजपा ने किया है. ईडी की जांच शुरू होने के बाद हुआ है. अरविंद केजरीवाल ने कोई गुनाह नहीं किया है. [wpse_comments_template]