यूनिवर्स बिहार बनी काजल ने सीएम नीतीश से की मुलाकात
जेएमएम-कांग्रेस ने राज्य की शिक्षा व्यवस्था को अपना राजनीतिक प्रयोगशाला बनाकर रख दिया
स्कूलों में न तो बैठने की व्यवस्था है, न तो कक्षाओं को संचालित करने के लिए भवन हैं, न तो पठन-पाठन का वातावरण है, और न ही छात्रों के उज्ज्वल भविष्य के लिए सरकार के पास कोई प्लान, ऐसे में झारखंड का भविष्य किधर जाएगा, आप खुद ही अंदाजा लगा सकते हैं. जेएमएम-कांग्रेस ने राज्य की शिक्षा व्यवस्था को अपना राजनीतिक प्रयोगशाला बनाकर रख दिया है. सरकारी स्कूलों में ना तो पर्याप्त शिक्षक हैं, ना ही बच्चों के बैठने के लिए पर्याप्त बेंच डेस्क... परीक्षा के दौरान एक ही बेंच पर 6-6 बच्चों को साथ बिठाकर सरकार छात्रों के भविष्य के साथ मजाक कर रही है. हेमंत सोरेन जी सरकारी स्कूल के बच्चों की पढ़ाई-लिखाई के प्रति थोड़ा गंभीर बनिए और राज्य के सभी विद्यालयों को पर्याप्त संसाधन उपलब्ध कराइए. इसे भी पढ़ें -रिलायंस">https://lagatar.in/market-cap-of-eight-of-the-top-10-sensex-companies-reduced-by-rs-1-66-lakh-crore/">रिलायंसको 33,930 करोड़ का घाटा, सेंसेक्स की टॉप 10 में से आठ कंपनियों का एमकैप 1.66 लाख करोड़ घटा [wpse_comments_template]