रामचंद्र कुमार अंजाना
Bokaro Thermal : नावाडीह प्रखंड के कंजकिरो पंचायत अंतर्गत वनडीहवा आदिवासी बहुल गांव है. इस गांव में पानी की घोर किल्लत है. भीषण गर्मी में पानी के लिए ग्रामीणों को भटकना पड़ रहा है. कहने को तो गांव में दो चापानल है, लेकिन उससे एक बाल्टी भी नहीं निकलता. पानी की किल्लत दूर करने के लिए गांव में सीसीएल के सीएसआर फंड से चार पानी टंकी लगाया गया था, लेकिन बोरिंग का पानी भरते समय चारों फट गया. आलम यह है कि आदिवासी महिलाएं 3 किलोमीटर दूर चुआं से पानी लाती हैं.
गांव की आबादी तीन सौ
पूरे गांव की तीन सौ आबादी है. ग्रामीणों ने अपना दुख-दर्द साझा करते हुए बताया कि राज्य का कमान आदिवासी सीएम हेमंत सोरेन के हाथ में होने के बावजूद हमलोगों की सुध लेनेवाला कोई नहीं है. ग्रामीण मोतीलाल बेसरा ने बताया कि गांव के दोनों चापानलों से थोड़ा-थोड़ा पानी निकलता है.
गिरीडीह सांसद से लगाई गुहार
वनडीहवा के ग्रामीणों ने गिरीडीह सांसद चंद्रप्रकाश चौधरी से पानी संकट दूर कराने की गुहार लगाई है. ग्रामीणों का कहना है कि स्थानीय जनप्रतिनिधियों से गुहार लगाते-लगाते थक चुका हूं. वे लोग समस्या सुनने को तैयार नहीं. अब सांसद से ही उम्मीद लगाए बैठा हूं. वहीं हमारी समस्या दूर कर सकते हैं.
छोटकीकुड़ी व पिपराडीह में भी पानी टंकी फटा
सीसीएल के सीएसआर फंड से पलामू पंचायत के छोटकीकुड़ी और पिपराडीह गांव में भी पानी टंकी बैठाया गया था. भीषण गर्मी में इन दोनों गांव में भी पानी टंकी फट गया है.
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