New Delhi : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी दो से 10 जुलाई तक अपनी आठ दिवसीय पांच देशों की यात्रा पूरी कर स्वदेश लौट आये हैं. पीएम घाना, त्रिनिदाद और टोबैगो, अर्जेंटीना, ब्राजील और नामीबिया की य़ात्रा पर गये थे.
भारत अपने सुपर प्रीमियम फ्रीक्वेंट फ्लायर प्रधानमंत्री का स्वागत करता है, जो शायद अगली विदेश यात्रा से पहले तीन हफ्तों के लिए देश में रहेंगे।
— Jairam Ramesh (@Jairam_Ramesh) July 10, 2025
अब जब वे देश में हैं, तो शायद उन्हें मणिपुर जाने का समय मिल जाए ,जहां लोग दो साल से अधिक समय से उनकी प्रतीक्षा कर रहे हैं। वे यह भी…
घाना, त्रिनिडाड एंड टोबैगो, अर्जेंटीना और ब्राजील की यात्रा के बाद स्वदेश वापसी के क्रम में भारत के सुपर प्रीमियम फ्रीक्वेंट फ्लायर प्रधानमंत्री आज नामीबिया में हैं।
— Jairam Ramesh (@Jairam_Ramesh) July 9, 2025
नामीबिया एक स्वतंत्र देश के रूप में 21 मार्च 1990 को उभरा था। कई वर्षों तक भारत ने सैम नुजोमा और उनके नेतृत्व… pic.twitter.com/Z3fzzYPCpM
कांग्रेस ने पीएम मोदी की विदेश यात्रा पर तंज कसते हुए कहा कि भारत अपने सुपर प्रीमियम फ्रीक्वेंट फ्लायर प्रधानमंत्री का स्वागत करता है, जो शायद अगली विदेश यात्रा से पहले तीन सप्ताह के लिए देश में रहेंगे. अब जब वे देश में हैं, तो शायद उन्हें मणिपुर जाने का समय मिल जाये, जहां लोग दो साल से अधिक समय से उनकी प्रतीक्षा कर रहे हैं.
कांग्रेस सांसद जयराम रमेश ने यह कहते हुए पीएम मोदी पर हल्ला बोला है. जयराम रमेश ने तंज कसते हुए एक्स पर पोस्ट किया. लिखा कि वे(पीएम मोदी) यह भी समीक्षा कर सकते हैं कि पहलगाम में हुए आतंकी हमलों के दोषियों को अब तक न्याय के कठघरे में क्यों नहीं लाया गया. पीएम अपने गृह राज्य(गुजरात) में लगातार गिरते-ढहते ,नाकाम होते बुनियादी ढांचे पर ध्यान दे सकते हैं.
वे बाढ़ से तबाह हिमाचल प्रदेश के लिए सहायता राशि मंजूर कर सकते हैं. रमेश ने लिखा कि वे चाहें तो GST में व्यापक सुधार पर भी ध्यान दे सकते हैं, जिससे आम उपभोग को प्रोत्साहन मिल सके और कुछ खास बड़े कॉरपोरेट समूहों के अलावा बाकी निजी कंपनियों को भी निवेश के लिए प्रेरित किया जा सके.
जयराम रमेश ने यह भी लिखा कि बदलाव के तौर पर पीएम मानसून सत्र के लिए एजेंडा तय करने के उद्देश्य से सर्वदलीय बैठक की अध्यक्षता भी कर सकते हैं. जयराम रमेश ने इससे पूर्व कल एक्स पर पोस्ट किया किभारत के सुपर प्रीमियम फ्रीक्वेंट फ्लायर प्रधानमंत्री नामीबिया में हैं. उन्होंने याद दिलाया कि नामीबिया एक स्वतंत्र देश के रूप में 21 मार्च 1990 को उभरा था.
जयराम रमेश ने लिखा कि कई वर्षों तक भारत ने सैम नुजोमा और उनके नेतृत्व वाली स्वतंत्रता आंदोलन की पार्टी साउथ वेस्ट अफ्रीका पीपल्स ऑर्गनाइजेशन (SWAPO) को व्यापक समर्थन दिया था. जवाहरलाल नेहरू ने यह सुनिश्चित किया था कि नुजोमा सितंबर 1961 में बेलग्रेड में आयोजित पहले गुटनिरपेक्ष सम्मेलन में भाग लें. सैम नुजोमा पहली बार मार्च 1983 में इंदिरा गांधी के निमंत्रण पर भारत आये थे,
उन्होंने लिखा कि सातवें गुटनिरपेक्ष सम्मेलन में शामिल हुए थे. उस शिखर सम्मेलन ने कई महत्वपूर्ण कदम उठाये गये थे. सैम नुजोमा 24 मई 1986 को फिर दिल्ली लौटे, जहां उन्होंने SWAPO का पहला दूतावास खोला,जो दुनिया में उसका पहला दूतावास था. कुछ ही महीनों बाद अगस्त 1986 में हरारे में हुए आठवें गुटनिरपेक्ष सम्मेलन में उन्होंने प्रधानमंत्री राजीव गांधी के साथ बैठक की. सैम नुजोमा मार्च 2005 तक नामीबिया के राष्ट्रपति रहे.