महाराष्ट्र में एससी आरक्षण केवल हिंदुओं, बौद्धों और सिखों को,  धर्म परिवर्तन करने वालों को आरक्षण नहीं : फडणवीस

Mumbai : महाराष्ट्र के सीएम देवेंद्र फडणवीस  ने कहा कि 2024 में सुप्रीम कोर्ट का एक फैसला आया था, जिसमें कहा गया था कि एससी आरक्षण केवल हिंदुओं, बौद्धों और सिखों को दिया जा सकता है अगर कोई धर्म परिवर्तन करता है, तो उसे यह आरक्षण नहीं दिया जा सकता.

 

 

 

 देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि  धर्म परिवर्तन के बाद उसका एससी का दर्जा समाप्त हो जाता है. राज्य सरकार सुप्रीम कोर्ट के आदेश के अनुसार काम करेगी. एससी आरक्षण केवल हिंदुओं, बौद्धों और सिखों को दिया जायेगा. 

 

 

इससे पहले श्री फडणवीस ने गुरुवार को विधान परिषद में कहा कि राज्य में अगर हिंदू, बौद्ध और सिख धर्म के अलावा किसी अन्य धर्म के व्यक्ति ने अनुसूचित जाति (SC) का सर्टिफिकेट हासिल किया है, तो उसे रद्द कर दिया जायेगा.

 

सीएम ने कहा कि अगर किसी अन्य ने सर्टिफिकेट हासिल कर सरकारी नौकरियों जैसे आरक्षण का लाभ लिया है तो उसके खिलाफ कार्रवाई भी की जायेगी. सीएम ने कहा कि महाराष्ट्र सरकार जबरन या धोखे से किय जा रहे धर्मांतरण से संबंधित मामलों से निपटने के लिए कड़े प्रावधान लाने पर विचार कर रही है   

 

 

देवेंद्र फडणवीस ने औरंगजेब  के संदर्भ में कहा कि सबसे पहली बात यह कि औरंगजेब भारत का हीरो नहीं है. वह  भारत के किसी भी समाज का हीरो नहीं है, इसलिए उसे माला पहनाने का कोई मतलब नहीं है.  लेकिन जहां तक उसकी कब्र का सवाल है, देश की संसद द्वारा पारित कानून के अनुसार, ये एक संरक्षित जगह मानी जाती है.

 

 

 यह केंद्र सरकार के पुरातत्व विभाग के अंतर्गत आती है.  इसलिए, इस बारे में कोई भी फैसला राज्य सरकार नहीं ले सकती.  केंद्र ही फैसला ले सकता है.  उन्होंने कहा कि इतिहास को सही परिप्रेक्ष्य में देखना चाहिए और गलत चीजों का महिमामंडन नहीं किया जाना चाहिए.  

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