Hazaribagh : हजारीबाग जिले के बड़कागांव स्थित एनटीपीसी के चट्टी बरियातू कोल परियोजना से पगार बिरहोर टोला में प्रभावित आदिम जनजाति बिरहोर समुदाय के दो लोगों की मौत हो गयी थी. बिरहोर टोला के किरणी बिरहोर की मौत 28 फरवरी और बहादुर बिरहोर की मौत 10 अप्रैल को हुई थी. इस मामले में भारत सरकार ने झारखंड के पीआईएल मैन दुर्गा मुंडा उर्फ दुर्गा उरांव के शिकायत पर झारखंड के मुख्य सचिव को पत्र लिखकर आवश्यक कार्रवाई करने का निर्देश दिया है. दुर्गा मुंडा ने अपने शिकायत में कहा था कि एनटीपीसी ने जिला प्रशासन के सहयोग से बिरहोर परिवारों को बिना पुर्नवास किये उनके निवास स्थल के पास खनन चालू कर दिया. शिकायत में खनन के दौरान पर्यावरण संरक्षण व खनन सुरक्षा का उल्लंघन और बिरहोर परिवारों द्वारा खनन से पूर्व जिला प्रशासन से अन्यत्र बसाने की मांग को दरकिनार कर जबरन खनन कार्य करने और करवाने का भी उल्लेख किया गया है.
आपत्तियों को दरकिनार कर खनन कार्य चालू होने दिया
शिकायत में यह भी कहा गया है कि जब दो बिरहोर की मौत मामले में संयुक्त जांच कमिटी ने अनुसंशा की थी कि जब तक बिरहोर परिवारों को अन्यत्र नहीं बसा दिया जाता, तब तक खनन कार्य करना श्रेयस्कर नहीं होगा. इसके बावजूद जिला प्रसाशन ने कोई कार्रवाई नहीं की. उल्टा दो बिरहोर की मौत के कारणों को छिपाने के लिए उनका पोस्टमार्टम नहीं किया. जबकि अन्य संदेहास्पद मामलों में पुलिस चिता या कब्र से भी शन निकालकर पोस्टमार्टम करवाती है, लेकिन यहां नहीं किया गया. दुर्गा मुंडा ने आगे कहा कि एनटीपीसी के इशारे पर जिला प्रशासन ने बिरहोर परिवारों की सुरक्षा और आपत्तियों को दरकिनार कर खनन कार्य चालू होने दिया. इतना ही नहीं प्रशासन ने दो मौतों के कारणों पर पर्दा डालाने व जांच कमिटी की अनुशंसा को भी नहीं माना.
हजारीबाग डीसी से चार बिंदुओं पर स्पष्टीकरण मांग चुका है राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग
बता दें कि इससे पहले राष्ट्रीय मानवधिकार आयोग भी हजारीबाग़ के उपायुक्त से चार बिंदुओं पर स्पष्टीकरण मांग चुका है. शिकायत में यह भी कहा गया है कि अगर सरकार शिकायत में उल्लेखित बिंदुओं पर कार्रवाई नहीं करती है तो झारखंड हाईकोर्ट में याचिका दायर की जायेगी, जिसमें सबकी भूमिका को चिन्हित कर आरोपी बनाया जायेगा.
इन चार बिंदुओं पर मांगा गया है स्पष्टीकरण
- बिरहोर टोला, पगार में एनटीपीसी का खनन कार्य कब से चल रहा है?
- बिरहोर टोला, पगार के निवासियों के स्वास्थ्य पर किस प्रकार के प्रतिकूल प्रभाव देखे गए हैं?
- बिरहोर समुदाय किस कारण से एनटीपीसी द्वारा निर्मित घरों में स्थानांतरित होने का विकल्प नहीं चुन रहा है और क्या वह स्थान खनन के प्रदूषण से सुरक्षित है?
- एनटीपीसी द्वारा खनन शुरू होने के बाद से कितने लोगों की मृत्यु हुई है और प्रत्येक व्यक्ति की मृत्यु का कारण क्या है?