Manoharpur : मनोहरपुर प्रखंड के सारंडा अंतर्गत कोलायबुरु से कुमड़ी तक बनी 13 किमी सड़क पहली ही बारिश में जर्जर हो गयी. पिच सड़क पर अनगिनत गड्ढे हो गए हैं. जिससे सड़क की गुणवत्ता पर सवाल उठने लगा है. सड़क निर्माण में गुणवत्ता से समझौता करने व अनियमितता का आरोप लगाते हुए आदिवासी समन्वय समिति के संयोजक सुशील बारला ने सड़क की उच्च स्तरीय जांच करने व दोषियों पर कार्रवाई को लेकर राज्य के मुख्य सचिव, मुख्य अभियंता, उपायुक्त पश्चिमी सिंहभूम एवं कार्यपालक अभियंता विशेष प्रमंडल चाईबासा को पत्र लिखा है. इस बाबत जानकारी देते हुए श्री बारला व दीघा पंचायत की मुखिया गुरुवारी मुंडारी ने कहा कि सड़क का निर्माण प्राक्कलन को ताक पर रख कर किया गया है.ऐसा प्रतीत होता है कि सड़क निर्माण के दौरान मानो मिट्टी के ऊपर सिर्फ़ कोलतार छिड़क दिया गया हो.उन्होंने मामले की उच्च स्तरीय जांच करने व इसमें दोषी अधिकारी व ठेकेदार के खिलाफ कार्रवाई की मांग भी की है. उन्होंने बताया कि वर्ष 2020 के 15 नवंबर को उन्होंने मुखिया गुरुवारी मुंडारी के साथ सड़क निर्माण का निरीक्षण किया था. उस दौरान अनियमितता की आशंका जताते हुए जांच की मांग हेतु 21 नवम्बर को जिले के उपायुक्त को पत्र लिखा कर शिकायत की गई थी. पर इसमें कोई सकारात्मक पहल नहीं हुई. स्थिति यह है कि अपने निर्माण के बाद एक बारिश भी सड़क नहीं झेल पाई. सड़क कीचड़मय हो गया है.
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