Jamshedpur : दुर्घटना के बाद अक्सर लोग घायल को जोश एवं जल्दीबादी में जैसे-तैसे उठाकर अस्पताल ले जाते हैं. अनजाने में हुई गलतियों की सजा पीड़ित को जिंदगीभर भुगतनी पड़ती है. ऐसी ही लापरवाही के शिकार 10 वर्ष पहले मो. जावेद हुए थे. जिसके कारण उनकी रीढ़ की हड्डी प्रभावित हुई. साथ ही पैरों का संतुलन भी खो गया. स्वयं के साथ अनजाने में हुई लापरवाही का शिकार दूसरे लोग नहीं हो. इसी संदर्भ में वे भारत भ्रमण कर लोगों को जागरूक कर रहे हैं.
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आम जनता को प्राथमिक उपचार के सही तरीके की जानकारी दी जानी चाहिए
इसी क्रम में आज मो. जावेद आज जमशेदपुर पहुंचे. बातचीत के दौरान मो. जावेद ने बताया कि आम जनता को सरकार एवं सामाजिक संस्थाओं के माध्यम से प्राथमिक उपचार के सही तरीके की जानकारी दी जानी चाहिए. जिससे भविष्य में अगर कोई घटना घटे तो फर्स्ट एड देने वाले की वजह से छोटी चोट बड़ी घटना का रूप न लें. क्योंकि अक्सर ऐसा देखा गया है कि लोग प्रॉपर जानकारी के अभाव में जोश में मरीज को आनन फ़ानन में अस्तपाल पहुंचाने की जल्दबाजी में जैसे तैसे उठा लेते हैं और रोगी को सहायता पहुंचाने की जगह बड़ी परेशानी में डाल देते हैं. जो अनजाने में हुई भूल की वजह से मरीज जीवन भर के लिये अपने बहुमूल्य अंग खो देते हैं.
महिला दिवस के दिन बंगलोर से शुरू किया भारत भ्रमण
मो. जावेद ने अपनी जागरुकता यात्रा अपनी कार से 8 मार्च (अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस) के दिन कर्नाटक के बंगलोर से शुरू की. वहां से वे तमिलनाडु, महाराष्ट्र, मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़, ओड़िसा के रास्ते झारखंड (जमशेदपुर) पहुंचे. यहां आने के बाद उनकी मदद जमशेदपुर फौजी एंड फ्रेंड्स के सदस्य दिव्यांग सुशांत ने की. बाद में आज जानकारी मिलने पर अखिल भारतीय पूर्व सैनिक सेवा परिषद के प्रदेश महासचिव सुशील कुमार सिंह के नेतृत्व में जिला मंत्री दिनेश सिंह, सार्जेंट अशोक श्रीवास्तव, सूबेदार मेजर दीपक मल्लिक, वेटरन्स मनोज ठाकुर, हंसराज सिंह, विवेक कुमार सिंह, गणेश राव, जय हो टीम के महेश जोशी एवं सुशांत ने पुष्पगुच्छ, उपहार एवं अंगवस्त्र ओढ़ा कर सम्मानित किया.
30 हजार किलोमीटर की दूरी तय कर 25 को पहुंचेंगे चेन्नई
भारत भ्रमण पर निकले मो. जावेद देश के सभी 28 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों का दौरा कर 25 मई को चेन्नई पहुंचेंगे. इस दौरान वे करीब 30 हजार किलोमीटर की दूरी तय करेंगे. स्वयं कार ड्राइव करने वाले मो. जावेद ने कार को चलाने के लिये मोडीफाई कराया है जिससे वे आसानी से ड्राइव कर सकें. मो. जावेद हिंदी के अलावे तमिल एवं अंग्रेजी में भी लोगों से संवाद स्थापित करते हैं.
अखिल भारतीय विकलांग अधिकार संघ ने सम्मानित किया
आज फौजी एवं फ्रेंड्स के साथ साथ अखिल भारतीय विकलांग अधिकार संघ झारखंड के पदाधिकारियों एवं सदस्यों ने शहर पहुंचने पर मो. जावेद को सम्मानित किया. साथ ही उनके हौसले की सराहना की. शरीर से पूर्ण स्वस्थ व्यक्ति भी इस तरह के साहसिक कार्य से घबराता है. मगर दिव्यांग जावेद ने इस चुनौती को स्वीकारते हुए गिनीज बुक में अपना नाम दर्ज कराने का प्रण किया है. इस मौके पर अखिल भारतीय विकलांग अधिकार संघ के धर्मेंद्र कुमार, डॉक्टर विशेश्वर यादव, सोनू कुमार महाराज, राजन कुमार, रजत कुमार, रवि कुमार आदि मौजूद थे.
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