New Delhi : कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा विपक्ष पर किये गये हमले को लेकर पलटवार करते हुए दावा किया कि मोदी सरकार संसदीय लोकतंत्र को नष्ट कर रही है. उन्होंने आज बुधवार को यह आरोप भी लगाया कि भारतीय जनता पार्टी ने संसद का अपमान किया है और लोकतंत्र को खतरे में डाल दिया है. नेशनल खबरों के लिए यहां क्लिक करें
Pradhan Mantri ji made a statement outside the Parliament.
We want to remind him how his Govt is responsible for corroding Parliamentary Democracy.
1⃣ In the last session of Parliament, as many as 14 Bills were passed in just 3 days, by suspending an unprecedented 146 MPs… pic.twitter.com/3B6eiRvKze
— Mallikarjun Kharge (@kharge) January 31, 2024
यह बजट सत्र पश्चाताप का भी अवसर है
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज विपक्षी दलों पर हमला करते हुए कहा था कि आदतन हुड़दंग करना जिनका स्वभाव बन गया है और जो लोकतांत्रिक मूल्यों का आदतन चीरहरण करते हैं, ऐसे सभी सांसदों को आत्मनिरीक्षण करना चाहिए. संसद के बजट सत्र के पहले दिन मीडिया को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने यह भी कहा कि हुड़दंग, नकारात्मकता और शरारतपूर्ण व्यवहार करने वालों को लोकतंत्रप्रेमी याद नहीं रखेंगे और उनके लिए यह बजट सत्र पश्चाताप का भी अवसर है.
भाजपा सरकार संसदीय लोकतंत्र को नष्ट करने के लिए जिम्मेदार
खड़गे ने सोशल मीडिया मंच एक्स पर पोस्ट किया, प्रधानमंत्री जी ने संसद के बाहर बयान दिया. हम उन्हें याद दिलाना चाहते हैं कि कैसे उनकी सरकार संसदीय लोकतंत्र को नष्ट करने के लिए जिम्मेदार है.उन्होंने दावा किया, संसद के पिछले सत्र में दोनों सदनों से 146 सांसदों को निलंबित करके केवल 3 दिनों में 14 विधेयक पारित किये गये. मौजूदा लोकसभा में एक घंटे से भी कम चर्चा में 172 में से 64 विधेयक पारित हो चुके हैं.
निरंकुश मोदी सरकार संविधान का उल्लंघन कर रही है
17वीं लोकसभा की इसी अवधि में राज्यसभा में एक घंटे से भी कम चर्चा के साथ 61 विधेयक पारित किये गये. खड़गे ने कहा, वर्तमान लोकसभा अपना 5 साल का कार्यकाल उपाध्यक्ष के बिना पूरा करेगी, यह पद पारंपरिक रूप से विपक्षी सदस्य के लिए आरक्षित है. इससे पता चलता है कि कैसे निरंकुश मोदी सरकार संविधान का उल्लंघन कर रही है और विपक्ष का गला घोंट रही है. उन्होंने आरोप लगाया, 17वीं लोकसभा का कार्यकाल 9 फरवरी को पूरा होने वाला है.
17वीं लोकसभा सभी लोकसभाओं की तुलना में सबसे कम दिनों तक बैठी
17वीं लोकसभा, पांच साल का कार्यकाल पूरा करने वाली सभी लोकसभाओं की तुलना में सबसे कम दिनों तक बैठी. यह बताता है कि कैसे मोदी सरकार संसदीय लोकतंत्र को नष्ट करने पर तुली हुई है. कांग्रेस अध्यक्ष ने कहा, प्रधानमंत्री ने रिकॉर्ड संख्या में विधेयक पारित करने के दावे किये. उनके पहले कार्यकाल में दोनों सदनों द्वारा 179 विधेयक पारित किये गये और उनके दूसरे कार्यकाल में 213 विधेयक पारित किये गये. यह संख्या भाजपा के व्यापक व्यवधान के बावजूद, पूर्ववर्ती संप्रग सरकार के पहले कार्यकाल के तहत पारित 297 विधेयकों और उसके दूसरे कार्यकाल के तहत पारित 248 विधेयकों से कम है.
संसद में सबसे अधिक व्यवधान 15वीं लोकसभा के दौरान हुए
खरगे ने कहा कि पिछले दो दशकों के आंकड़े बताते हैं कि संसद में सबसे अधिक व्यवधान 15वीं लोकसभा (2009-2014) के दौरान हुए और उस समय भाजपा प्रमुख विपक्षी दल थी. उन्होंने दावा किया, यह भाजपा ही है जिसने संसद का अपमान किया है, विपक्ष नहीं! लोकतंत्र खतरे में है.
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