Nirsa : अंग्रेजों की बनाई गई बंद पड़ी कंपनी चांच पॉटरी रिलायंस फायरब्रिक्स एंड पॉटरी परिसर स्थित 40 पेड़ों को चुपके से काट दिया गया. इससे कंपनी के पुराने मजदूरों में आक्रोश है. मजदूर गोलबंद होकर कारखाना पहुंचे और पेड़ कटाई का काम बंद करवा दिया.
ज्ञात हो कि कंपनी की स्थापना अंग्रेजों ने वर्ष 1917 में की थी. जब अंग्रेज भारत छोड़कर जाने लगे, तो अग्रवाल परिवार को फैक्ट्री की जिम्मेदारी सौंप दी. अग्रवाल परिवार ने फैक्ट्री को वर्ष 1996 तक चलाया.इसके बाद अचानक फैक्ट्री बंद बंद कर दी गई. इस मामले में रिलायंस पॉटरी वर्कर्स यूनियन (इंटक से संबंद्ध) के महासचिव राजेंद्र प्रसाद सिंह का कहना है फैक्ट्री बंद होते समय यहां लगभग 5 हजार मजदूर कार्यरत थे. फैक्ट्री बंद होने के बाद मजदूरों का पीएफ, ग्रेच्युटी आदि बकाया रह गया. वर्ष 2015-16 में कंपनी के सभी कल पुर्जे व लोहा कोलकाता की संगवारी कंपनी को 6 करोड़ में बेच दिया गया. मजदूरों के हंगामा के बाद कंपनी ने उनका ग्रेजुएट देकर मामले को शांत करा लिया. लेकिन आज भी सैकड़ो लोगों का अधिकार मिलना बाकी हैं. अब कंपनी चुपके से वृक्षों को कटवा रही थी, जिसे बंद करवा दिया गया.
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