Ranchi: राजनीतिक दल अपने-अपने कोर वोट बैंक को मजबूत करने के साथ-साथ नए वोटर्स को आकर्षित करने में जुटे हैं. भाजपा और झामुमो ने सदस्यता अभियान चलाया है, जिसमें भाजपा ने 60 लाख और झामुमो ने 50 लाख सदस्य बनाने का लक्ष्य रखा है. राज्य में होने वाले नगर निकाय चुनाव के बहाने राजनीति दल अपनी जमीन को मजबूत करने में जुट गए हैं.
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क्या है भाजपा की रणनीति
भाजपा विकास के एजेंडे और केंद्रीय योजनाओं को सामने रख रही है. पार्टी का फोकस आदिवासी, पिछड़े वर्ग, शहरी और युवा वोटरों पर है. भाजपा ने राज्य में 60 लाख सदस्य बनाने का लक्ष्य रखा है. पार्टी विकास के एजेंडे और केंद्रीय योजनाओं को सामने रख रही है.
भाजपा संगठन महापर्व के तहत राज्य में सदस्यता अभियान चला रही है, जिसमें प्राथमिक सदस्य बनाने की प्रक्रिया पूरी कर ली गई है और अब सक्रिय सदस्य बनाने की कवायद चल रही है.
क्या है झामुमो की रणनीति
झामुमो आदिवासी और ग्रामीण इलाकों में अपनी पकड़ बनाए रखने के लिए सामाजिक और आर्थिक मुद्दों को उठा रहा है. झामुमो ने राज्य में 50 लाख सदस्य बनाने का लक्ष्य रखा है. सदस्यता अभियान 28 फरवरी तक चलेगा.
इस अभियान के तहत, झामुमो ने जिला स्तरीय कमेटियों को भंग कर दिया है और नए सिरे से संगठन को मजबूत करने की कवायद शुरू की है. इसके लिए एक संयोजक मंडली का गठन किया गया है, जिसमें पार्टी के सांसद, विधायक और केंद्रीय नेता शामिल हैं. झामुमो के महाधिवेशन में केंद्रीय समिति के गठन को लेकर निर्णय लिया जाएगा. यह निर्णय पार्टी की भविष्य की रणनीति और संगठनात्मक मजबूती को बढ़ावा देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा.
कांग्रेस और अन्य दलों की रणनीति
कांग्रेस और अन्य क्षेत्रीय दल संगठन को मजबूत बनाने और कमजोर क्षेत्रों में अपनी स्थिति मजबूत करने की रणनीति पर काम कर रहे हैं. डिजिटल माध्यमों का भी बड़े पैमाने पर उपयोग किया जा रहा है, ताकि युवा वोटरों को जोड़ा जा सके. वहीं नगर निकाय चुनाव को लेकर बूथ स्तर तक संगठन को मजबूत बनाने की कवायद शुरू की गई है. इन दलों ने भी नगर निकाय चुनाव पर फोकस किया है.
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