कांग्रेस, समाजवादी पार्टी, आम आदमी पार्टी, सीपीएम और बसपा समेत 15 पार्टियां विरोध में
NewDelhi : वन नेशन-वन इलेक्शन के प्रस्ताव को मोदी कैबिनेट ने मुहर लगा दी है केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने आज बुधवार को घोषणा की कि केंद्रीय मंत्रिमंडल ने वन नेशन-वन इलेक्शन पर उच्च स्तरीय समिति की सिफारिशों को स्वीकार कर लिया है. ऐसी चर्चा है कि केंद्र सरकार इससे जुड़ा बिल जल्द ला सकती है.
बता दें कि पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के नेतृत्व वाली समिति ने वन नेशन वन इलेक्शन की संभावनाओं पर मार्च में अपनी रिपोर्ट मोदी सरकार को सौंप दी थी. इस रिपोर्ट के अनुसार पहले कदम के रूप में लोकसभा और राज्य विधानसभाओं के चुनाव एक साथ कराये जाने चाहिए.
#WATCH | Union Cabinet has accepted the recommendations by the high-level committee on ‘One Nation, One Election’, announces Union Minister Ashwini Vaishnaw.
(Video source: PIB/ YouTube) pic.twitter.com/NnE99wNDer
— ANI (@ANI) September 18, 2024
समिति ने यह भी सिफारिश की थी कि लोकसभा और राज्य विधानसभा चुनाव एक साथ हो जाने के 100 दिन के अंदर स्थानीय निकाय चुनाव कराये जाने चाहिए. इससे पूरे देश में एक निश्चित समयावधि में सभी स्तर के चुनाव संपन्न कराये जा सकेंगे. जान लें कि वर्तमान में, राज्य विधानसभाओं और लोकसभा के चुनाव अलग-अलग आयोजित हो रहे हैं.
रामनाथ कोविंद के नेतृत्व में बनी समिति ने 62 राजनीतिक दलों से राय ली थी
जान लें कि पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के नेतृत्व में बनी समिति ने 62 राजनीतिक दलों से संपर्क कर उनसे राय ली थी. सूत्रों के अनुसार इन दलों में से 32 ने एक देश, एक चुनाव का समर्थन किया था. 15 पार्टियां इसका विरोध कर रही थी. 15 ऐसी पार्टियां ने कोई जवाब नहीं दिया था.
नीतीश कुमार की जदयू, और चिराग पासवान की एलजेपी (आर) समर्थन में
एनडीए सरकार की बात करें तो उसमें वर्तमान में भाजपा के अलावा चंद्रबाबू नायडू की टीडीपी, नीतीश कुमार की जदयू, और चिराग पासवान की एलजेपी (आर), शिंदे की शिवसेना शामिल हैं. जदयू और एलजेपी (आर) एक देश, एक चुनाव के लिए मोदी सरकार के साथ है. टीडीपी का इस पर कोई जवाब नहीं आया है.कांग्रेस, समाजवादी पार्टी, आम आदमी पार्टी, सीपीएम और बसपा समेत 15 पार्टियों ने इसका विरोध कर रही हैं. झारखंड मुक्ति मोर्चा, टीडीपी, इंडियन यूनियन मुस्लिम लीग समेत 15 पार्टियां जवाब नहीं देने वालों में शामिल हैं.
पीएम मोदी ने कहा था, वन नेशन वन इलेक्शन के लिए देश को आगे आना होगा
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पिछले महीने स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर लाल किले की प्राचीर से देशवासियों को संबोधित करते हुए वन नेशन वन इलेक्शन का जिक्र किया था. पीएम मोदी ने कहा था, वन नेशन वन इलेक्शन के लिए देश को आगे आना होगा. बार-बार आने वाले चुनाव इस देश की प्रगति में रुकावट उत्पन्न करते हैं. आज किसी भी योजना को चुनाव के साथ जोड़ना आसान हो गया है, क्योंकि हर तीन या छह महीने बाद चुनाव होते हैं. हर काम को चुनाव के रंग से रंग दिया गया है. इसलिए देश ने व्यापक चर्चा की है. उन्होंने आगे कहा था, “सभी राजनीतिक दलों ने अपने विचार रखे हैं. मैं लाल किले से तिरंगे को साक्षी रखते हुए देश के राजनीतिक दलों से आग्रह करता हूं. संविधान को समझने वाले लोगों से आग्रह करता हूं कि भारत की तरक्की के लिए, भारत के संसाधनों का सर्वाधिक उपयोग जन सामान्य के लिए हो सके, इसके लिए वन नेशन वन इलेक्शन के लिए हमें आगे आना चाहिए.