Ranchi: झारखंड, बिहार, छत्तीसगढ़, उत्तरी और पूर्वी भारत में माओवादी संगठन के सक्रिय होने की सूचना पर एनआईए ने पश्चिम बंगाल में 11 ठिकानों पर छापेमारी की. मंगलवार को एनआईए की टीम ने पश्चिम बंगाल के दक्षिण 24 परगना, आसनसोल, हावड़ा, नादिया और कोलकाता जिलों में कुल 11 स्थानों पर संदिग्धों के घरों पर गहन तलाशी ली. ये सभी संदिग्ध माओवादी के ओवरग्राउंड वर्कर थे और माना जाता है कि उन्होंने नक्सली गतिविधियों को अंजाम देने में संगठन के कमांडरों की मदद की थी. तलाशी में कई आपत्तिजनक दस्तावेज, इलेक्ट्रॉनिक उपकरण, पर्चे, पत्रिकाएं और हस्तलिखित पत्र जब्त किए गए.
एनआईए ब्रांच ने दर्ज किया था मामला
यह मामला प्रतिबंधित माओवादी संगठन के पोलित ब्यूरो और केंद्रीय समिति के सदस्यों, कार्यकर्ताओं और समर्थकों द्वारा रची गई साजिश से संबंधित है. इस साजिश का उद्देश्य झारखंड, बिहार, छत्तीसगढ़ और भारत के उत्तरी और पूर्वी क्षेत्रों के अन्य राज्यों में माओवादी की विचारधारा को पुनर्जीवित करना, उसका विस्तार करना और उसका प्रचार करना है. अप्रैल 2022 में एनआईए पुलिस स्टेशन रांची में आईपीसी और यूए(पी) एक्ट की विभिन्न धाराओं के तहत दर्ज मामले में अब तक सीपीआई (माओवादी) पोलित ब्यूरो के सदस्य प्रशांत बोस और प्रमोद मिश्रा और केंद्रीय समिति के सब्यसाची गोस्वामी समेत कुल छह आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है. एफआईआर में अन्य के साथ माओवादी के 13 शीर्ष नेताओं का नाम भी शामिल है.
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