Ranchi: भगवान बिरसा जैविक उद्यान में नए वर्ष के विशेष अवसर पर सोमवार को 30 दिसंबर और 6 जनवरी को उद्यान खुला रहेगा. साथ ही 31 दिसंबर से 2 जनवरी तक उद्यान में टिकट दर वयस्कों के लिए 70 रुपए और 3 से 12 वर्ष तक के बच्चों के लिए 30 रुपए निर्धारित की गई है. इन तिथियों पर ग्रुप टिकट सुविधा उपलब्ध नहीं होगी. दर्शकों की सुविधा का विशेष ध्यान रखते हुए उद्यान में विजिटर्स शेड, पीने के पानी की व्यवस्था, शौचालय और मातृशिशु गृह जैसी सुविधाएं प्रदान की गई हैं. इसके अतिरिक्त, दिव्यांग व्यक्तियों के लिए व्हीलचेयर की व्यवस्था की गई है, जिससे वे भी उद्यान का आनंद बिना किसी असुविधा के उठा सकें. यह कदम सभी वर्गों के लोगों को प्रकृति के करीब लाने और समावेशी पर्यटन को बढ़ावा देने का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है.
बता दें यहां 91 प्रजातियां संरक्षित हैं, जिनमें 41 पक्षी, 31 स्तनधारी और 19 सरीसृप शामिल है. इस वर्ष कई वन्यजीवों के बच्चों का जन्म हुआ है. जिनमें दरियाई घोड़ा, लकड़बग्घा, सांभर, चीतल, कोटरा, कृष्णमृग, सफेद कृष्णमृग, नीलगाय, लंगूर और बंदर शामिल है. पक्षियों की श्रेणी में मोर, सिल्वर फीजेंट, गोल्डन फीजेंट, बजरीगर, तोता और शुतुरमुर्ग के बच्चों ने उद्यान की शोभा बढ़ाई है. इसके अतिरिक्त, सरीसृपों में घड़ियाल और कछुआ जैसे नए बच्चों ने उद्यान को और समृद्ध किया है.
इस वर्ष उद्यान में जैव विविधता को और बढ़ाने के लिए नंदनकानन जैविक उद्यान, भुवनेश्वर से सफेद बाघोन, लोमड़ी, खटास, नाइट हेरोन, आईबिस, ये पेलिकन और माउस डीयर को लाया गया है. सफेद बाघ, काला तेंदुआ, सफेद मोर, सफेद हिरण और नन्हे-मुन्ने वन्यजीवों के बच्चे दर्शकों के लिए विशेष आकर्षण का केन्द्र है. इनके साथ बिताया गया समय न केवल प्रकृति के प्रत्ति जागरूकता बढ़ाता है बल्कि एक अनूठा अनुभव भी प्रदान करता है, जो पर्यटकों की स्मृतियों में लंबे समय तक बना रहता है.
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