Ranchi : राज्यपाल संतोष कुमार गंगवार की उपस्थिति में मंगलवार को राजभवन में हिमाचल प्रदेश स्थापना दिवस का आयोजन किया गया. इस अवसर पर झारखंड में निवासरत हिमाचल प्रदेश के नागरिकों ने उत्साहपूर्वक भाग लिया.
हिमाचल की विशिष्ट पहचान: अपने संबोधन में राज्यपाल ने हिमाचल प्रदेश की नैसर्गिक सुंदरता, आध्यात्मिक विरासत और वीरता की भावना को रेखांकित करते हुए कहा कि हिमाचल प्रदेश न केवल “देवभूमि” के रूप में प्रसिद्ध है, बल्कि इसने भारत को आत्मनिर्भर और सशक्त बनाने में भी अहम भूमिका निभाई है.
विकास के क्षेत्रों में उल्लेखनीय योगदान : राज्यपाल ने हिमाचल प्रदेश की उपलब्धियों का उल्लेख करते हुए कहा कि राज्य ने शिक्षा, स्वास्थ्य, महिला सशक्तिकरण और जैविक खेती जैसे क्षेत्रों में महत्वपूर्ण प्रगति की है.उन्होंने यह भी बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में हिमाचल को “हरित राज्य” और “जैविक कृषि केंद्र” के रूप में विकसित करने की दिशा में ठोस प्रयास किए जा रहे हैं.
राष्ट्रीय एकता को करता है मजबूत : राज्यपाल ने एक भारत, श्रेष्ठ भारत” पहल के महत्व पर बल देते हुए कहा कि ऐसे आयोजन आपसी समरसता, सांस्कृतिक आदान-प्रदान और राष्ट्रीय एकता को मजबूत करने में सहायक होते हैं. उन्होंने कहा कि राज्य भवन द्वारा विभिन्न राज्यों के स्थापना दिवसों का आयोजन इस उद्देश्य की ओर एक सराहनीय पहल है.
संस्कृति और एकता का उत्सव : इस अवसर पर अपर मुख्य सचिव डॉ. निति कुलकर्णी ने कहा कि राज भवन द्वारा विभिन्न राज्यों के स्थापना दिवस मनाने से न केवल राष्ट्रीय एकता को बढ़ावा मिलता है, बल्कि साझा सांस्कृतिक विरासत के प्रति सम्मान और समझ भी विकसित होती है.