Ranchi: झारखंड हाईकोर्ट के जस्टिस एसके द्विवेदी की अदालत में रूपा तिर्की मामले में सुनवाई हुई. सुनवाई के दौरान राज्य सरकार की तरफ से अदालत में उपस्थित महाधिवक्ता राजीव रंजन ने अदालत से आग्रह किया कि इस मामले की सुनवाई अब दूसरी बेंच में की जानी चाहिए, क्योंकि पिछली सुनवाई के बाद प्रार्थी के अधिवक्ता ने कहा था कि यह मामला दो सौ प्रतिशत सीबीआई को सौंपा जा सकता है. इस पर अदालत ने उन्हें यह बात शपथ पत्र के माध्यम से कोर्ट में पेश करने को कहा, जिससे उन्होंने इससे इनकार कर दिया.
हाईकोर्ट द्वारा जारी आदेश के मुताबिक महाधिवक्ता राजीव रंजन ने कहा कि उनका मौखिक कहना ही पर्याप्त है. इसके बाद अदालत ने माना कि जब यह सवाल उठ गया है, तो हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस को ही निर्धारित करना चाहिए कि इस मामले की सुनवाई कौन कोर्ट करेगी. इसलिए यह मामला उनके पास भेजा जा रहा है. इसके बाद अदालत ने रजिस्ट्री को निर्देश दिया कि वह तत्काल इस मामले को चीफ जस्टिस के यहां पेश करें. हाईकोर्ट के न्यायाधीश जस्टिस एसके द्विवेदी कोर्ट ने इस संबंध में आदेश भी पारित कर दिया है.
जानिए क्या हुआ सुनवाई के दौरान
AG -पिछली सुनवाई के बाद प्रार्थी के अधिवक्ता ने कहा था कि यह मामला दो सौ प्रतिशत सीबीआइ को सौंपा जा सकता है.
कोर्ट- यह बात शपथ पत्र के माध्यम से कोर्ट में पेश करें.
AG- मौखिक कहना ही पर्याप्त है.
कोर्ट- जब यह सवाल उठ गया है, तो हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस को ही निर्धारित करना चाहिए कि इस मामले की सुनवाई कौन सी कोर्ट करेगी.