Jamshedpur (Anand Mishra) : जमशेदपुर के साकची स्थित टैगोर सोसायटी के रविन्द्र भवन में प्रकृति प्रेम के श्रेष्ठ कवि गुरु रवींद्रनाथ टैगोर की रचनाओं को लेकर बसंत उत्सव का आयोजन रविवार की शाम किया गया. इसमें रविन्द्र भवन में संचालित टैगोर स्कूल ऑफ आर्ट एवं टैगोर स्कूल ऑफ आर्ट सोनारी शाखा, कदमा शाखा, टेल्को, बारीडीह व केबल शाखा के लगभग 200 छात्र छात्राओं एवं शिक्षक, शिक्षिकाओं ने हिस्सा लिया. कार्यक्रम में रविन्द्र नाथ टैगोर की ऋतुराज बसंत पर आधारित रचनाओं पर संगीत एवं नृत्य का मंचन हुआ, जिसमें मोर वीणा, चांदेर आलो, फागुनेर नोवीन, ओगो दोखीन- पुबाली, ऐशो ऐशो, ओगो बोधु, रोंग लागाले, आकाश आमाय, नील दिगोंतो, चैत्र पवने, दोखीन द्वार, आदि गीतो पर संगीत एवं नृत्य का अनूठा संगम छात्र छात्राओं के साथ शिक्षक, शिक्षिकाओं ने दिखाया.
इसे भी पढ़ें : जमीन कारोबारी अनिल यादव हत्याकांड का खुलासा, हजारीबाग से शूटर गिरफ्तार
कार्यक्रम के पश्चात इस संबंध में जानकारी देते हुए इस कार्यक्रम के आयोजक संस्था टैगोर सोसायटी के महासचिव आशीष चौधुरी ने बताया कि प्रत्येक वर्ष यह आयोजन प्रकृति प्रेम के अनन्य कवि गुरु रविन्द्र नाथ टैगोर की प्रकृति प्रेम से भरी रचनाओं के माध्यम से बसंत उत्सव के रूप में मनाया जाता है. उन्होंने कहा कि जिस प्रकार बसंत के आगमन से प्रकृति के कण कण नृत्य करता हुआ प्रतीत होता है वैसे ही कविवर की रचना मनुष्य और प्रकृति का सामंजस्य रचती है और जब जीवन मे बसंत आता है तो प्रकृति के समान ही रोम रोम नृत्य करता है. उन्होंने कहा कि यह महान कवि को उनकी रचना के माध्यम से एक श्रद्धांजलि भी है और नव पीढ़ी को प्रकृति के साथ कदमताल मिलाकर चलने को प्रेरित करने का कार्यक्रम भी है. टैगोर स्कूल ऑफ आर्ट की प्राचार्य चंदना चौधरी के नेतृत्व में सांस्कृतिक कार्यक्रम का सफल आयोजन हुआ, बसन्तोत्सव के समूचे सफल आयोजन में टैगोर स्कूल ऑफ आर्ट के इंचार्ज जयदेव घोष का महत्वपूर्ण योगदान रहा.