New Delhi : मोदी सरकार की कृषि विरोधी नीतियों के खिलाफ चल रहे किसान आंदोलन का युवा हल्ला बोल ने खुलकर समर्थन किया है. युवा हल्ला बोल के राष्ट्रीय संयोजक अनुपम ने मांग किया है कि प्रधानमंत्री मोदी अपनी ज़िद्द और अहंकार को छोड़कर देश के अन्नदाताओं से संवाद करके उनकी शंकाओं और चिंताओं को दूर करे.
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पीएम का मकसद पूंजीपतियों को फायदा पहुंचाना- अनुपम
अनुपम ने Lagatar.in से कहा कि मोदी सरकार द्वारा पारित किये गये तीनों कृषि विरोधी कानूनों का मकसद कुछ चुनिंदा पूंजीपतियों को फायदा पहुँचाना है. ये अत्यंत दुखद है कि सरकार की नीतियों से परेशान किसान जब दिल्ली आकर शांतिपूर्ण ढंग से अपना विरोध दर्ज करवाना चाहते थे तो सरकार ने उनपर अत्याचार किया. कभी लाठी डंडे, वाटर कैनन और आँसू गैस छोड़े, तो कभी राजमार्ग पर गढ्ढे खोदकर किसानों को रोकने की कोशिश की गयी.
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देशभर का युवा व्यथित और आक्रोशित
अनुपम ने कहा कि मीडिया और सत्ताधारी दल का एक वर्ग तो सरकार की चरण वंदना में इस कदर अंधा हो गया कि आंदोलन को देश विरोधी करार देने लगा. किसानों के साथ ऐसा अन्यायपूर्ण रवैया देखकर देशभर का युवा व्यथित और आक्रोशित है. दिल्ली ही नहीं देश के अन्य हिस्सों में भी किसानों कर समर्थन में आवाज़ उठ रही है. झारखंड के जमशेदपुर में भी शहरी युवक-युवतियों ने किसानों का साथ देकर खुदको उनका कर्जदार बताया है.
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इस आंदोलन की आवाज़ बुलंद करे
युवाओं ने किसान विरोधी बिल के खिलाफ कला के माध्यम से प्रतिरोध जताया और प्रदर्शन का नेतृत्व कर रहे ऋषव रंजन ने कहा कि हम किसी भी प्रोपेगैंडा से इस आंदोलन को प्रभावित नहीं होने देंगे. देश के आम नागरिक भी इन बिलों का विरोध करेंगे. हम सब किसान की संतान हैं. युवा हल्ला बोल ने युवाओं से अपील किया है कि अन्नदाताओं के समर्थन में इस आंदोलन की आवाज़ बुलंद करे.
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