Bhagalpur: मुख्यमंत्री नीतीश कुमार रविवार को भागलपुर के बिहपुर अंचल के गुवारीदीह में पुरातात्विक स्थलों का भ्रमण करने के लिए पहुंचे थे. इस दौरे से लोगों को काफी उम्मीदें थीं. उन्हें देखने के लिए लोगों में काफी उत्सुकता थी. लेकिन यहां कुछ ऐसा हुआ कि उससे किसानों का नुकसान हो गया.
जानकारी के मुताबिक, जिस जगह पर हेलिकॉप्टर लैंड किया वहां गेहूं, मक्का और सब्जियां लगी हुई थीं. लोगों ने इस पर ध्यान नहीं दिया. हेलिकॉप्टर देखते ही सभी दौड़ पड़े. खेत में लगी फसल को पैरों से रौंदते हुए हेलीपैड के पास पहुंच गए. किसानों ने कहा कि अगर जिला प्रशासन चाहता तो उनकी फसल बर्बाद नहीं होती मगर ऐसा नहीं हुआ. उन्होंने अपनी नाकामी छिपाने के लिए फसलों को बर्बाद होने दिया.
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जर्जर सड़क पर जाते तो प्रशासन की खुलती पोल
दरअसल, जिस खेत में मुख्यमंत्री के लिए हेलीपैड बनाया गया था वहां से 3 किलोमीटर की दूरी पर जयरामपुर उच्च विद्यालय है. प्रशासन चाहता तो इस स्कूल के मैदान में मुख्यमंत्री का हेलिकॉप्टर उतरवा सकता था, मगर उसने ऐसा नहीं किया.
स्कूल के मैदान में अगर मुख्यमंत्री का हेलिकॉप्टर उतरता तो फिर वहां से 5 मिनट की दूरी तय करके नीतीश कुमार गुवारीडीह गांव पहुंच सकते थे. 3 किलोमीटर की वह सड़क जिस पर चलकर नीतीश कुमार जाते, वह बेहद जर्जर स्थिति में है. इसी कारण से जिला प्रशासन ने हेलीपैड गुवारीडी गांव में स्थित कामा माता स्थान के पास खेत में हेलीपैड का निर्माण करा दिया.
इस मामले पर विपक्ष ने नीतीश कुमार पर निशाना साधा है. आरजेडी प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी ने कहा कि “बिहार में सरकार ने किसानों की फसल को रौंद दिया. फसल को बर्बाद करके मुख्यमंत्री के लिए हेलीपैड का निर्माण किया गया. यह दिखाता है कि किस तरीके से सरकार बिहार में किसानों की फसल को रौंद दे रही है. नीतीश कुमार को किसानों से माफी मांगनी चाहिए. किसानों की जो फसल बर्बाद हुई है उसका मुआवजा उन्हें मिलना चाहिए. इससे साबित होता है कि बिहार सरकार किसान विरोधी है.”
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किसानों को मिलेगा मुआवजा
जनता दल यूनाइटेड प्रवक्ता राजीव रंजन ने कहा कि “किसानों को लेकर राज्य सरकार का संकल्प बिल्कुल स्पष्ट है. हेलीपैड निर्माण को लेकर भागलपुर में फसल का नुकसान जो किसानों का हुआ है, इसको लेकर किसानों के एक शिष्टमंडल ने जिलाधिकारी से बात की है और उन्हें आश्वस्त किया गया है कि उन्हें इसका मुआवजा दिया जाएगा. इस मामले में कोई भी सियासत नहीं की जानी चाहिए”. डीएम ने अधिकारियों को आदेश दिया है कि फसल बर्बाद होने की वजह से किसानों को हुए नुकसान का आकलन करके तुरंत रिपोर्ट सौंपे ताकि उन्हें मुआवजा दिया जा सके.
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