Bokaro : झारखंड हाईकोर्ट ने मेकॉन लिमिटेड रांची को एनपी कंस्ट्रक्शन बोकारो का बकाया भुगतान का निर्देश दिया है. बता दें कि विलंब भुगतान का मामला हाईकोर्ट में चल रहा था. एमएसएमई काउंसिल ने इस मामले में 24 अगस्त 2021 को एक फैसला सुनाया था. इस फैसले के विरोध में मेकॉन ने उच्च न्यायालय में एक अपील याचिका दायर की थी. जिसे न्यायालय के राजेश शंकर के अदालत ने 12 अगस्त को निरस्त कर दिया था. जिसपर हाईकोर्ट ने आज फैसला सुनाया है. कोर्ट ने एमएसएमई काउंसिल के फैसले को बरकरार रखते हुए मेकॉन को एनपी कंस्ट्रक्शन का बकाया भुगतान का निर्देश दिया है. निर्देश के बाद एनपी कंस्ट्रक्शन काफी खुश है. (पढ़ें, रांची : युवक ने पिस्टल से खुद को मारी गोली, मौत)
मेकॉन ने बिल के भुगतान को रखा था लंबित
इस मामले में अधिवक्ता राहुल लंबा ने बताया कि एनपी कंस्ट्रक्शन के अकाउंट बैटरी वन तथा टू में किये गये काम के बिल के भुगतान को मेकॉन ने लंबित रखा था. जिसके भुगतान को लेकर एनपी कंस्ट्रक्शन ने काफी प्रयास किया लेकिन मेकॉन ने बिल का भुगतान नहीं किया. जिसके बाद एमपी कंस्ट्रक्शन के निर्देशक ने एमएसएमई समाधान 2016 के तहत जून 2020 में ऑनलाइन आवेदन करके भुगतान में किये गये विलंब पर सुनवाई का अनुरोध किया था. जिस पर 24 अगस्त 2021 को एनपी कंस्ट्रक्शन के पक्ष में फैसला देते हुए 7 करोड़ 70 लाख मूलधन एवं बैंक के दर से 3 गुना अधिक ब्याज देने का निर्देश दिया है.
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मेकॉन ने उच्च न्यायालय का खटखटाया था दरवाजा
काउंसिल ने कहा था कि मेकॉन को एनपी कंस्ट्रक्शन को 50 करोड़ से अधिक राशि देना पड़ सकता है. काउंसिल ने कहा था कि 3 दिनों के अंदर बोकारो उपायुक्त और मेकॉन के सीएमडी उक्त राशि का भुगतान कर दें. लेकिन मेकॉन ने इस फैसले के विरोध में उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया था. उच्च न्यायालय ने इस याचिका को निरस्त करते हुए एमएसएमई काउंसिल एवं इसके भुगतान की प्रक्रिया में बोकारो उपायुक्त द्वारा किये गये प्रयास को सही ठहराते हुए भुगतान का निर्देश दिया है. ऐसे में यह एक ऐतिहासिक फैसला कहा जा सकता है.
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