Dhanbad: धनबाद (Dhanbad) Baghmara: बाघमारा (Baghmara) रथ यात्रा की छुट्टी के कारण नगर निगम कार्यालय और जिला प्रदूषण नियंत्रण विभाग बंद होने की वजह से सिंगल यूज प्लास्टिक के खिलाफ अभियान नहीं चला. हालत यह थी कि हीरापुर हटिया, पुराना बाजार व विभिन्न सड़कों पर कई लोग प्लास्टिक की थैलियों में सामान लेकर आते-जाते दिखे. अब शनिवार को कार्यालय खुलने के बाद अभियान शुरू होने की संभावना है. हालांकि कोई स्पष्ट स्थिति नहीं है. नगर आयुक्त सत्येन्द्र कुमार ने कोई स्पष्ट जवाब नहीं दिया और कार्यपालक पदाधिकारी मो अनीश ने तो फ़ोन ही नहीं उठाया. बता दें कि वन, पर्यावरण एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय ने एक जुलाई 2022 से प्लास्टिक अपशिष्ट प्रबंधन संशोधन अधिनियम 2021 के तहत एक बार उपयोग में आने वाले प्लास्टिक के निर्माण, आयात स्टॉकिंग, वितरण, बिक्री एवं उपभोग पर प्रतिबंध लगाया है.
पांच सौ से 20 हज़ार रुपये तक फाइन का प्रावधान
एक जुलाई के बाद सिंगल यूज प्लास्टिक के साथ पकड़े गए व्यक्ति या संस्थान से माल जब्ती के अलावा पर्यावरण क्षति पूर्ति के लिए वसूली के साथ उद्योगों व वाणिज्यिक प्रतिष्ठानों के संचालन को बंद करने का भी आदेश दिया जा सकता है. छोटे दुकान में पहली बार प्लास्टिक मिलने पर पांच सौ रुपये, दूसरी बार एक हज़ार, तीसरी बार दो हज़ार, बड़े प्रतिष्ठानों के लिए पहली बार पांच हज़ार रुपये, दूसरी बार 10 हज़ार, तीसरी बार 20 हज़ार, जबकि प्लास्टिक बैग या सामान निर्माण करने वाली कंपनियों पर प्रति टन पहली बार पांच हज़ार रुपये, दूसरी बार 10 हज़ार और तीसरी बार 20 हज़ार रुपये प्रति टन के हिसाब से जुर्माना वसूला जाएगा.
प्लास्टिक, स्ट्रा से चॉकलेट की डंडिया तक बैन
इस बार सिंगल यूज प्लास्टिक बैन में केवल प्लास्टिक से बनी थैलियां ही नहीं, 19 अन्य चीजों को भी बैन किया गया है, जिसमें प्लास्टिक की छर्रियां, गुब्बारे में लगी प्लास्टिक की छड़ी, प्लास्टिक के झंडे, कैंडी स्टिक, आइसक्रीम की छड़ी, सजावट के लिए उपयोग में आने वाले पोलीस्टाइरिन, थर्माकोल के प्लेट, कप, ग्लास, कटलरी, कांटे, चम्मच, चाकू, स्प्रे, 100 माइक्रोन से कम के पीवीसी बैनर, सभी प्रतिबंधित हैं.
इसलिए किया गया बैन
केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने वर्ष 2015 में अपनी सर्वे रिपोर्ट में बताया था कि प्लास्टिक थैलियां और बोतल जल्दी नष्ट नहीं होते हैं और यह पर्यावरण के लिए काफी खतरनाक हैं. रिपोर्ट में उन्होंने कहा गया था कि प्लास्टिक बोतलों को नष्ट होने में 450 वर्ष और प्लास्टिक कैरी बैग को नष्ट होने में 200 से 1000 वर्ष लगता है. इस लिहाज से तेजी से बढ़ता प्लास्टिक का कचरा पर्यावरण के लिए खतरा पैदा कर रहा है. हालांकि इससे पहले भी प्लास्टिक के खतरे को लेकर चर्चा हो चुकी थी. लेकिन 2015 की रिपोर्ट के बाद इसे गंभीरता से लिया जाने लगा.
कतरास, बाघमारा में खुलेआम प्लास्टिक का उपयोग
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Baghmara : धनबाद नगर निगम द्वारा 1 जुलाई आज से सिंगल यूज प्लास्टिक के उपयोग पर प्रतिबंध की घोषणा की थी. निगम के कड़े निर्देश, जुर्माना लगाने की बात को दरकिनार कर कतरास थाना से एकदम नजदीक सब्जी बाजार में सिंगल यूज प्लास्टिक का उपयोग किया जा रहा है. सब्जी विक्रेता सहित अन्य दुकानदारों द्वारा ग्राहकों को सिंगल यूज प्लास्टिक में सब्जी, सामान दिए जा रहे हैं. कतरास थाना से ठीक समीप बाजार में अगर यह हाल है तो अन्य स्थानों की क्या दृश्य होगा, जाता यह अनुमान लगाया जा सकता है.
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