Dhanbad : कोयलांचल के लोगों को इस साल गर्मी में बिजली की समस्या से छुटकारा मिल सकता है. जेबीवीएनएल इसकी तैयारी में लग गया है. ऊर्जा विभाग के अधिकारियों की मानें तो तेनुघाट स्थित पावर प्लांट और नेशनल ग्रिड से धनबाद को अप्रैल से 40 मेगावाट बिजली मिलने लगेगी. बरमसिया और जैनामोड़ में ग्रिड बनकर तैयार है और ट्रांसमिशन लाइन का काम भी तेजी से चल रहा है. पर्याप्त बिजली मिलने से डीवीसी पर निर्भरता भी कम हो जाएगी.
क्या है वर्तमान स्थिति
वर्तमान में धनबाद मुख्यतः डीवीसी पर निर्भर है. डीवीसी से प्रतिदिन 45 मेगावाट बिजली मिल रही है. गर्मी में मांग को देखते हुए जेबीवीएनएल के अधिकारियों ने डीवीसी से 70 मेगावाट बिजली की मांग की है. इसके अलावा धनबाद में कांड्रा ग्रिड से 20 मेगावाट बिजली मिल रही है. लेकिन जरूरत 90 मेगावाट बिजली की है. डीवीसी और तेनुघाट से अतिरिक्त बिजली मिलने से समस्या दूर होने की उम्मीद जताई जा रही है.
ट्रांसमिशन लाइन का काम अंतिम चरण में
अधीक्षण अभियंता अरुण कुमार का कहना है कि ट्रांसमिशन का काम 2016 से चल रहा है, जो अब अंतिम चरण में पहुंच चुका है. अभी झारखंड-बंगाल सीमा पर ट्रांसमिशन लाइन का काम तेजी से चल रहा है. अप्रैल के अंत तक उन्हें झारखंड बिजली वितरण निगम लिमिटेड को हैंडओवर करना है. उम्मीद है तय समय में यह काम पूरा हो जाएगा.
मेंटनेंस पर भी दिया जा रहा है जोर
ऊर्जा विभाग के कार्यपालक अभियंता शैलेंद्र भूषण तिवारी ने बताया कि गर्मियों में बिजली की खपत अधिक हो जाने से केबल में फाल्ट और ट्रांसफॉर्मर जलने की समस्या अधिक होती है. इसके अलावा आंधी-तूफान, मेघ गर्जन के कारण भी बिजली बाधित होती है. उपभोक्ताओं को कम से कम परेशानी हो, इसकी तैयारी की जा रही है. अधिक लोड वाले क्षेत्र में पहले से ज्यादा क्षमता वाले ट्रांसफॉर्मर लगाया जा चुका है. कमजोर तार को भी बदला जा चुका है. कई जगह अभी भी काम चल रहा है. मेंटनेंस का काम भी लगातार जारी है.
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