Dhanbad : धनबाद जिले के विभिन्न क्षेत्रों से रैयत विस्थापितों ने राज्य सरकार एवं बीसीसीएल और कोयला मंत्री की उपेक्षा पूर्ण नीति के खिलाफ सोमवार 14 मार्च को हल्ला बोल पद यात्रा निकाली. रैयत विस्थापित संघर्ष मोर्चा की संयोजक मंडली के सदस्य मंटू महतो ने कहा कि रैयत विस्थापितों पर सरकारी नीतियों का दमन चक्र चल रहा है. बीसीसीएल और डीजीएमएस भी किसानों और रैयतों के साथ मनमानी कर रहा है. उन्होंने कहा कि राज्य सरकार भी रैयतों की संपत्ति को संरक्षण देने में विफल रही है.
उन्होंने कहा कि बीसीसीएल के पास कागजात नाम की कोई चीज नहीं है. कहावत है खाता ना बही, वह जो बोले वही सही. उन्होंने कहा कि बीसीसीएल बताए कि उसने अब तक कितनी जमीन का अधिग्रहण किया है. कितनी जमीन की रजिस्ट्री कराई है. कितना रैयतों और विस्थापितों को भुगतान किया गया है. उन्होंने कहा कि बीसीसीएल जिला प्रशासन से साठगांठ कर रैयतों की भूमि पर 144 लगाकर धारा 353 के तहत दमन करती है.
बीसीसीएल की इस मनमानी से रैयतों, किसानों और विस्थापितों की संपत्ति ही नहीं, बलिक संस्कृति और सभ्यता भी समाप्त हो जाएगी. उन्होंने रैयतों और विस्थापितों के विवादित मामलों के निष्पादन के लिए राज्य सरकार से स्पेशल कोर्ट का गठन करने की मांग की है. कहा कि उद्योग धंधे के लिए जमीन हम देंगे और हक दूसरों को मिलेगा, जो अब नहीं चलेगा. हर क्षेत्र के गांव, किसानों और नौजवानों को रोजगार में भागीदारी देनी होगी, नहीं तो अब जमीन नहीं मिलेगी.
उन्होंने कहा कि अगला कार्यक्रम बीसीसीएल के कोयला भवन का घेराव होगा इसके बाद भी अगर मांगे पूरी नही हुई तो बीसीसीएल का चक्का जाम किया जाएगा. पदयात्रा गोधर फुटबॉल मैदान , तेतुलतला मैदान और सराय ढेला दुर्गा मंदिर प्रांगण से निकाली गई. पदयात्रा में भारी संख्या में रैयत ग्रामीण मौजूद थे. धनबाद के रणधीर वर्मा चौक पर पदयात्रा सभा में तब्दील हो गई.
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