NewDelhi : भारत बायोटेक का स्वदेशी कोरोना टीका (कोवैक्सिन) परीक्षण में 81 प्रतिशत प्रभावी पाया गया है .इसके बाद इसके इस्तेमाल को लेकर संभावनाएं बेहतर हो गयी हैं. बता दें कि पिछले सप्ताह तक देश में एक करोड़ लोगों को टीका लगाया जा चुका है,
जिसमें से लगभग 11 प्रतिशत ही कोवैक्सिन का इस्तेमाल किया गया. अब अंतिम परिणाम सामने आने के बाद भारत बायोटेक के दावे को मजबूती मिली है.
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आपात इस्तेमाल की मंजूरी दिये जाने पर हुआ था विवाद
हालांकि इससे पहले बायोटेक के टीके के परीक्षण के अंतिम परिणाम आने से पहले ही इसके आपात इस्तेमाल की मंजूरी दिये जाने को लेकर विवाद खड़ा हो गया था.
बता दें कि कोरोना महामारी के बीच जब कोविशील्ड और भारत बायोटेक के स्वदेशी कोरोना टीके (कोवैक्सीन) को इमर्जेंसी यूज के लिए अप्रूवल दिया गया तो बहस छिड़ गयी थी.
वैक्सीनेशन प्रोग्राम शुरू होते ही कांग्रेस ने कोवैक्सीन की विश्वसनीयता पर सवाल उठाये थे. कांग्रेस पार्टी के नेता मनीष तिवारी ने कहा था कि वैक्सीन के प्रति भरोसा पैदा करने के लिए सबसे पहले पीएम मोदी को टीका लगवाना चाहिए.
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शशि थरूर ने ट्वीट कर आपत्ति जताई थी
कांग्रेस नेता शशि थरूर ने भी ट्वीट करते हुए कहा था कि कोवैक्सीन का तीसरे चरण का ट्रायल पूरा नहीं हुआ है, बिना सोचे समझे अनुमति दे दी गयी है. यह खतरनाक हो सकता है.इतना ही नहीं, समाजवादी पार्टी के नेता अखिलेश यादव ने यहां तक कहा था कि वह भाजपा की वैक्सीन नहीं लगवायेंगे. साथ ही उन्होंने कहा था कि मुझे इनकी वैक्सीन पर भरोसा नहीं है.
उधर हैदराबाद की भारत बायोटेक कंपनी ने एक बयान में कहा कि उसके तीसरे चरण के परीक्षण में 25,800 व्यक्ति शामिल हुए.भारत में इस तरह का यह अब तक का सबसे बड़ा परीक्षण है.इसे भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) के सहयोग से पूरा किया गया.
भारत बायोटेक के चेयरमैन और प्रबंध निदेशक कृष्णा एल्ला ने कहा, कोवैक्सिन ने उच्च चिकित्सीय प्रभाविता दिखाई है, साथ ही इसने तेजी से उभरते कोरोना के नये रूपों के खिलाफ भी बेहतर रोधक क्षमता दिखाई है.
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स्वास्थ्यकर्मियों ने भी आशंका जताई थी
कंपनी के टीके के परीक्षण के अंतिम परिणाम आने से पहले ही इसके इस्तेमाल को लेकर कुछ स्वास्थ्यकर्मियों ने भी आशंका जताई थी.बहरहाल, उसका टीका कोवैक्सीन शुरुआत अनुमान से बेहतर प्रदर्शन करने में सफल रहा है.
40 से अधिक देशों की रुचि
भारत बायोटेक ने कहा है कि पहले ही 40 से अधिक देशों ने उसके टीके में रुचि दिखायी है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस सप्ताह की शुरुआत में कोरोना वैक्सीन का टीका लगवाकर टीकाकरण के दूसरे चरण की शुरुआत की है.प्रधानमंत्री ने कोवैक्सीन का ही टीका लगवाया है.कोविड- 19 से बचाव के लिए कोवैक्सीन टीके को भारत बायोटेक ने भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद के साथ मिलकर देश में ही विकसित किया है.