Ranchi : प्रतिबंधित उग्रवादी संगठन PLFI के सबजोनल कमांडर कृष्णा यादव उर्फ सुल्तान बालूमाथ थाना से फरार होने के बाद खूंटी- चाईबासा के सीमावर्ती इलाकों को अपना ठिकाना बनाया है. फरार होने के बाद कृष्णा PLFI सुप्रीमों दिनेश गोप के साथ दस्ते में रह रहा है. साथ में दो लाख रूपया इनामी अवधेश जायसवाल उर्फ चूहा भी है. गौरतलब है कि बीते 27 जून को खूंटी के रनिया थाना क्षेत्र और चाईबासा के बंदगांव और गुदड़ी थाना के सीमावर्ती इलाके में पुलिस और PLFI उग्रवादी के बीच मुठभेड़ हुई थी. मुठभेड़ के दौरान दिनेश गोप के साथ अवधेश जायसवाल उर्फ चूहा और बालूमाथ थाना से फरार पीएलएफआई उग्रवादी कृष्णा यादव भी मौजूद था. पुलिस को भारी पड़ता देख यह सभी उग्रवादी बचकर भागने में सफल रहा था.
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पुलिस को चकमा देकर कृष्णा यादव हुआ था फरार
प्रतिबंधित उग्रवादी संगठन PLFI के सबजोनल कमांडर कृष्णा यादव उर्फ सुल्तान बालूमाथ थाना से बीते 23 मई फरार हो गया था. कृष्णा यादव को पुलिस ने कुछ माह पहले ही रांची से गिरफ्तार किया था. जिसके बाद लातेहार की बालूमाथ पुलिस ने कृष्णा यादव को रिमांड पर लिया था. लेकिन शौच के बहाने हाजत से बाहर निकला कृष्णा यादव पुलिस को चकमा देकर फरार हो गया. जिसके बाद पुलिस की काफी किरकिरी हुई थी. लातेहार पुलिस ने कृष्णा यादव की सूचना देने वाले को एक लाख रूपया इनाम देने का भी घोषणा किया है, हालांकि कृष्णा यादव को पुलिस को सफलता नहीं मिल पाई है.
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आगजनी सहित कई घटनाओं में शामिल था कृष्णा
सबजोनल कमांडर कृष्णा यादव कई बड़े उग्रवादी कांडों में आरोपी है. हाल के दिनों में कृष्णा यादव ने चतरा जिले पिपरवार में बीते 18 अक्टूबर की रात वाहनों में आगजनी की घटना को अंजाम दिया था. इससे पहले कृष्णा यादव ने अपने दस्ते के साथ बीते 23 अगस्त को पिपरवार स्थित कांटाघर को बम से उड़ा दिया था. कृष्णा यादव रांची के कोयला क्षेत्र खलारी, बुढमू के साथ साथ चतरा के पिपरवार में सक्रिय था. कृष्णा यादव के गिरफ़्तारी से पीएलएफआई को बड़ा झटका लगा है. रांची और लोहरदगा पुलिस की संयुक्त टीम के साथ टेक्निकल सेल की टीम ने छापेमारी कर लोहरदगा के सेंहा इलाके से कृष्णा यादव को गिरफ्तार किया था.
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29 मामलों में था वांटेड
सबजोनल कमांडर कृष्णा यादव उर्फ सुल्तानजी 29 मामलों में वांटेड था. कृष्णा यादव ने चतरा जिले के पिपरवार में बीते 18 अक्टूबर 2020 की रात वाहनों में आगजनी की घटना को अंजाम दिया था. इससे पहले कृष्णा यादव ने अपने दस्ते के साथ बीते 23 अगस्त 2020 को पिपरवार स्थित कांटाघर को बम से उड़ा दिया था. इसके खिलाफ, रांची के चान्हो, बुढ़मू, चंदवा, पिपरवार, पतरातू, कुड़ू, खलारी, बालूमाथ सहित अलग-अलग थानों में कुल 29 मामले दर्ज हैं.
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