Ranchi : झारखंड में बड़े-बड़े डैम होने के बाद किसानों को इसका लाभ नहीं मिल रहा है. ऐसे में एकफसली खेती राज्य की पहचान बनी हुई थी. जो अब बदलने लगी है. राज्य सरकार की पहल से सूबे के कुछ इलाके में किसान बहुफसलीय खेती की ओर अग्रसर हो रहे हैं. हेंमत सरकार ने 2021-22 के बजट में कृषि को बढ़ावा देने के लिए कई योजनाओं चालू किया था. इसमें सबसे अधिक योगदान अक्षय ऊर्जा परियोजनाओं का है.राज्य के किसानों को सिंचाई के क्षेत्र में सहयोग देने के लिए सौर ऊर्जा आधारित लिफ्ट सिंचाई प्रणाली स्थापित किया गया है. सिमडेगा में लगे 105 सौर-आधारित लिफ्ट सिंचाई प्रणाली लगाये गये है. जिससे पांच हजार से अधिक किसानों को लाभ मिल रहा है.
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पारंपरिक सिंचाई व्यवस्था को सौर आधारित लिफ्ट सिंचाई से बदला गया
सूबे के सिमडेगा जिले के कई हिस्सों में सौर आधारित लिफ्ट सिंचाई प्रणाली बहाल की गई है. सौर आधारित लिफ्ट सिंचाई प्रणाली का लाभ जिला के कई किसानों को मिल रहा है. इससे गरीब किसानों का जीवन बदल रहा है. सौर-आधारित सिंचाई सुविधा की मदद से किसान एक वर्ष में कई फसलों का विकल्प चुन रहे हैं.
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हजारों परिवार योजना से हो रहे हैं लाभान्वित
इस परियोजना की निगरानी और क्रियान्वयन राज्य सरकार की देखरेख में एटीएमए, कृषि प्रौद्योगिकी प्रबंधन एजेंसी द्वारा की गई, जो नवीनतम तकनीक को अपनाने के साथ कृषि को बढ़ावा देती है. परियोजना अक्टूबर 2020 में शुरू की गई थी. सिर्फ सिमडेगा में 105 से अधिक सौर-आधारित लिफ्ट सिंचाई प्रणाली स्थापित की गई है, जिससे सिमडेगा के पांच हजार परिवार लाभान्वित हो रहे हैं. जिला आत्मा प्रोजेक्ट डायरेक्टर कृष्ण बिहारी ने बताया कि अब किसानों ने सौर आधारित लिफ्ट सिंचाई प्रणाली की मदद से साल में दो से तीन फसलों की खेती शुरू कर दी है. इससे किसानों की आय में कई गुना वृद्धि हुई है और यह पलायन को रोकने में भी मदद कर रहा है.
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