Ranchi : झारखंड विधानसभा के बजट सत्र में जल संसाधन विभाग में कई आरोप से घिरे सेवानिवृत्त कार्यपालक अभियंता विमल कुमार झा को Pileline Project Monitoring Cell (PPM Cell) का नोडल अधिकारी बनाने का मुद्दा उठा. विधायक प्रदीप यादव ने अल्प सूचित प्रश्न यह सवाल उठाया. उन्होंने कहा कि ऐसे आरोपित अधिकारी पर तीन आरोप 2015, 2007, जनवरी 2021 पर लगा है. RRDA में वे नक्शा घोटाले में नामित अभियुक्त है. लेकिन इन्हें सेवानिवृत्त के बाद पुनः सविंदा पर नियुक्ति की गई है. लेकिन सरकार इनपर लगे आरोप को छिपा रही है. ऐसा क्यों?
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सभी पहलुओं को ध्यान में रख कर की गई नियुक्ति
इसपर जल संसाधन विकास मंत्री मिथलेश ठाकुर ने कहा कि विमल कुमार झा के विरुद्ध एक ही मामले में 15 अप्रैल 2015 को आरोप लगा है. सरकार ने इनकी नियुक्ति सभी पहलुओं को ध्यान में रख कर की है. इसपर सीएम का अनुमोदन प्राप्त है. अगर विधायक को कोई गड़बड़ी दिखती है तो उनसे चर्चा कर लिया जाएगा. इस पर प्रदीप यादव ने कहा, हमसे व्यक्तिगत बात करने की कोई जरूरत नहीं है ना ही वे इच्छुक हैं.
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विभागीय मंत्री ने कहा कि विभाग को ऐसे अभियंताओं की जरूरत है, जो अनुभवी है.
इसपर विधायक प्रदीप यादव ने मुख्य सचिव की अध्यक्षता में कमेटी बनाकर उनकी नियुक्ति की जांच की मांग की, जिसके जवाब में मंत्री मिथिलेश ठाकुर ने मुख्य सचिव की अध्यक्षता में कमेटी बनाकर जांच कराने की बात कही है.
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