ट्रायल कोर्ट का आरोप गठन सही : हाईकोर्ट
Vinit Abha Upadhyay
Ranchi: पावर ब्रोकर के नाम से मशहूर मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपी प्रेम प्रकाश की डिस्चार्ज याचिका झारखंड हाईकोर्ट ने खारिज कर दी. कोर्ट ने अपने आदेश में कहा कि प्रथम दृष्टया यह प्रतीत होता है कि ईडी के पास प्रेम प्रकाश के खिलाफ पर्याप्त साक्ष्य हैं, जिससे यह साबित होता है कि वह साहिबगंज में अवैध खनन और उसके जरिए हुई अवैध कमाई की मनी लॉन्ड्रिंग में शामिल थे. अदालत ने कहा कि अपराध की कमाई में प्रेम प्रकाश की सांठगांठ का खुलासा हुआ है. उसके अकाउंट में लाखों रूपये कैसे आये, वह अब तक नहीं दिखा पाया है.
स्पेशल कोर्ट के आदेश को दी थी चुनौती
दरअसल रांची पीएमएलए (प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट) की स्पेशल कोर्ट ने प्रेम प्रकाश के खिलाफ आरोप गठित कर ट्रायल शुरू कर दिया है. आरोप गठित किये जाने के आदेश को प्रेम प्रकाश ने हाईकोर्ट में चुनौती दी थी. जिसपर हाईकोर्ट के न्यायाधीश जस्टिस संजय कुमार द्विवेदी की कोर्ट ने सुनवाई की.
जेल में भी प्रेम प्रकाश का रुबाब नहीं हुआ कम
बता दें कि अवैध खनन से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग केस के साथ-साथ प्रेम प्रकाश को ईडी ने लैंड स्कैम से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग केस में भी आरोपी बनाया है. प्रेम प्रकाश को ईडी ने पिछले साल गिरफ्तार किया था, जिसके बाद से वे न्यायिक हिरासत में हैं. ईडी की अब तक की जांच में यह भी खुलासा हुआ है कि जेल के अंदर भी प्रेम प्रकाश का रुबाब कम नहीं हुआ है और जेल के अधिकारियों की मिलीभगत से उसे जेल में सभी सभी सुविधाएं मुहैया करायी जा रही है.