- नौकरी से हटाए गए सुरक्षाकर्मी संघ के प्रतिनिधिमंडल ने की बन्ना गुप्ता से मुलाकात
- स्वास्थ्य मंत्री से पुणः नौकरी देने की निजी सुरक्षाकर्मियों ने की मांग
- 7 सालों तक की अस्पतालों की सुरक्षा, अब हो गए हैं बेरोजगार
Ranchi: सदर अस्पताल रांची एवं जिले के सभी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों में कार्यरत 155 सुरक्षाकर्मियों को पिछले 1 मार्च 2019 को बिना कारण बताए ही नौकरी से हटा दिया गया था. पूर्वर्ती सरकार के स्वास्थ्य मंत्री रामचंद्र चंद्रवंशी से सुरक्षाकर्मी संघ के सदस्यों ने नौकरी पर बहाल करने की गुहार लगाई थी. लेकिन इसपर कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई. एक बार फिर सुरक्षा कर्मी संघ के प्रतिनिधि मंडल ने सूबे के स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता से मुलाकात कर पुनः बहाली हेतु ज्ञापन सौंपा.
7 सालों तक की अस्पतालों की सुरक्षा, अब हो गए हैं बेरोजगार
सुरक्षा कर्मी संघ के सदस्यों का कहना है कि 155 सुरक्षाकर्मियों की जीवन संकट में है. संघ राज्य सरकार से सरकारी नौकरी की मांग नहीं करता है. बल्कि प्राइवेट एजेंसी के माध्यम से 7 सालों तक काम किया है, और वापस उन्हें नौकरी दी जाए ताकि परिवार का जीविका चल सके.
इसे भी पढ़ें- तमिलनाडुः चुनाव से पहले चिन्नम्मा की एंट्री, 4 साल बाद जेल से लौटीं शशिकला
होमगार्ड के जवानों को किया जा रहा है अधिक राशि का भुगतान
गौरतलब है कि निजी एजेंसी के तहत कार्यरत 155 सुरक्षाकर्मियों को मानदेय गए के रूप में 3500 से लेकर 6400 रुपए तक प्रति माह का भुगतान किया जाता था और इसी राशि से परिवार का भरण पोषण होता था. जबकि वर्तमान में जिन्हें सुरक्षा की जिम्मेवारी दी गई है उन्हें 15 से 20 हजार का भुगतान किया जा रहा है.
स्वास्थ्य मंत्री से मिला सकारात्मक आश्वासन
रांची जिला सुरक्षा कर्मचारी संघ के अध्यक्ष मोबिन अंसारी ने कहा कि सोमवार को स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता से मुलाकात के दौरान सकारात्मक आश्वासन मिला है. उम्मीद है कि आने वाले समय में सभी 155 सुरक्षाकर्मियों को पुनः काम करने का मौका मिलेगा, ताकि सभी लोगों की माली हालत ठीक हो सके.
इसे भी देखें-
डाउनलोड करें “लगातार” एप, एक क्लिक पर पाएं तजातरीन खबरें – https://play.google.com/store/apps/details?id=in.lagatar.com.news