NewDelhi : देश में संविधान के चारों स्तंभों पर दबाव बना हुआ है. इसके लिए कुछ करना होगा. भाजपा नेता और पूर्व राज्यसभा सांसद सुब्रमण्यन स्वामी ने अपने ट्वीट के जरिए फिर मोदी सरकार पर निशाना साधा है. बता दें कि कल 10 सितंबर को ट्वीट कर सुब्रमण्यन स्वामी ने लिखा, इसमें कोई शक नहीं कि 2017 से संविधान के चार स्तंभ लगातार दबाव में हैं.
There is no doubt that four pillars of the Constitution are increasingly under stress since 2017. English media e.g., newspapers and TV are under duress from officers of PMO. Judicial clerics are under pressure from Govt law officers.Tapping is quite extensive.We need to act soon
— Subramanian Swamy (@Swamy39) September 10, 2022
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प्रिंट और इलेक्ट्रॉनिक मीडिया पर सरकारी पहरा
अंग्रेजी मीडिया जैसे अखबार और टीवी प्रधानमंत्री ऑफिस(PMO)के अधिकारियों के दबाव में हैं. लिखा कि न्यायपालिका के लोग भी सरकार के कानून अधिकारियों के दबाव में हैं. बड़े स्तर पर दोहन हो रहा है. इस स्थिति में हमें जल्द ही कुछ करने की आवश्यकता है.
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पार्टी में हर पद पर सदस्यों का चुनाव मोदी की मंजूरी से होता है
जान लें कि सुब्रमण्यन स्वामी के अलावा विपक्ष भी कई मौकों पर आरोप लगाता रहा है कि देश की मीडिया व केंद्रीय जांच एजेंसियां सरकार के दबाब में काम कर रही है. इसी क्रम में स्वामी ने कहा कि प्रिंट और इलेक्ट्रॉनिक मीडिया पर सरकारी पहरा बना हुआ है. आरोप लगाया कि वे पीएमओ से आने वाले निर्देशों पर काम कर रहे हैं.
बता दें कि यह पहला मौका नहीं हे, जब सुब्रमण्यन स्वामी ने मोदी सरकार या उसकी नीतियों पर निशाना साधा है. इससे पहले वो पार्टी संगठन के पदाधिकारियों के चुनाव पर पीएम मोदी को कटघरे में खड़ा कर चुके हैं. स्वामी ने 17 अगस्त को भाजपा संसदीय बोर्ड और केंद्रीय चुनाव समिति से शिवराज सिंह चौहान और नितिन गडकरी को हटाये जाने पर पीएम की आलोचना की थी. सुब्रमण्यन स्वामी ने कहा था कि पार्टी में हर पद पर सदस्यों का चुनाव मोदी की मंजूरी से होता है.
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