Ranchi : तेनूघाट निगम लिमिटेड के विलय के लिए पिछले दिनों उर्जा विभाग ने पत्र जारी किया. पत्र टीवीएनएल और उर्जा उत्पादन निगम को लिखी गयी. जिसमें टीवीएनएल के विलय के लिए दोनों निगमों से बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स की सहमति मांगी गयी. सहमति मिलने के बाद टीवीएनएल के विलय पर विभाग की मुहर लग जायेगी. फिलहाल इसमें समय लग सकता है. राज्य उर्जा उत्पादन निगम में फिलहाल कोई एमडी नहीं है. वहीं निदेशक पद में भी कोई नहीं है. ऐसे में जब तक विभाग की ओर से इन पदों पर अधिकारी बहाल नहीं किये जाते, तब तक बोर्ड की सहमति विलय के लिये नहीं मिल सकती.
वहीं टीवीएनएल में पिछले दिनों एमडी अरविंद कुमार सिन्हा हटाये गये. महाप्रबंधक अनिल शर्मा एमडी के प्रभार में हैं. संभावना है कि टीवीएनएल बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स विलय पर सहमति दें भी दें, तो उर्जा उत्पादन निगम के सहमति के लिए मामला लंबित रह सकता है.
राज्य सरकार के अधीन हो जायेगा टीवीएनएल
राज्य गठन के साथ ही टीवीएनएल बिहार और झारखंड सरकार के बीच विवाद का कारण बना. मामला सुप्रीम कोर्ट तक गया, जिसके बाद कोर्ट ने झारखंड के पक्ष में फैसला सुनाया. अब दोनों निगमों से बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स की सहमति मिल जाने के बाद टीवीएनएल झारखंड उर्जा उत्पादन निगम के अधीन हो जायेगा. वहीं जेबीवीएनएल को इससे बिजली खरीद के लिए किसी समझौते की भी जरूरत नहीं होगी. झारखंड उर्जा उत्पादन निगम लिमिटेड सभी बिजली ईकाइयों की मदर विंग है.
किया जा रहा विस्तार
टीवीएनएल का विस्तार किया जा रहा है. राज्य कैबिनेट से इसकी स्वीकृति मिलने के बाद विस्तार के साथ दो यूनिट निमार्ण पर काम किया जा रहा है. विभाग की मानें तो बनने वाले दोनों यूनिटों की क्षमता 660-660 मेगावाट की है. इसके लिए केंद्र सरकार ने ई एंड डी कॉल ब्लॉक भी आवंटित कर रखा है. जिसकी कुल क्षमता 420 एमएमटी है. तेनूघाट में संसाधनों के विकास और पावर उत्पादन के लिए राज्य सरकार से सहयोग मिलेगा.
क्या कहा जीएम जेनरेशन ने
उर्जा उत्पादन निगम के जीएम जेनरेशन राकेश रौशन ने कहा कि आज की तारीख में निगम में कोई एमडी या निदेशक नहीं है. विभाग को इसकी जानकारी है. विभाग की ओर से बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स में एजेंडा पेश करने की बात की गयी. जिसकी तैयारी निगम कर रहा है. इसमें सभी स्टेट्स को ध्यान में रखते हुए एजेंडा बनाया जा रहा है. अब आगे विभाग को देखना है. निगम का काम एजेंडा तैयार करना है. एमडी की नियुक्ति सरकार के हाथ में है. ऐसे में निगम अपनी तैयारी पर ध्यान दे रहा है.