Jamtara: 14वें वित्त आयोग से पंचायत स्तर पर हुई पानी टंकी की खरीद में गड़बड़ी का मामला प्रकाश में आया है. साल 2016 में पानी टंकी को खरीदा गया था. आरोप है कि नाला प्रखंड के पंचायतों में पानी टंकी की खरीद में अनियमितता हुई है.
विभागीय नियमों की अनदेखी की गयी
कास्ता, श्रीपुर, कुलडंगाल, फुटबेड़िया, पांजुनिया, सालुका, खैरा, नाला, पाकुड़िया, बड़ारामपुर, गेड़िया, धोबना, मोरबासा व अफजलपुर में पानी की खरीद में विभागीय नियमों की अनदेखी की गयी थी. इसके बाद उपायुक्त कार्यालय की ओर से 16 सितंबर 2019 को नाला प्रखंड विकास पदाधिकारी को इसकी जांच के लिए पत्र जारी किया गया. इसे लेकर प्रखंड विकास पदाधिकारी ने 09 जनवरी 2021 को पंचायत स्तर पर हुई अनियमितता की जांच की. जांच में आरोपी पंचायत सचिवों के विरूद्ध प्रपत्र क प्रस्ताव भेजा गया है. यह मामला पंचायती राज व उपायुक्त कार्यालय में लंबित है.
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क्या है मामला
14वें वित्त आयोग से पानी टैंकर की खरीद में 1 लाख 80 हजार रूपए खर्च किया गया है. इसमें वित्तीय अनियमितता का मामला उजागर हुआ है. इनमें से कई जनसेवक तत्कालीन पंचायत सचिव के प्रभार पर थे, जिनका स्थानांतरण हो गया है. वित्तीय अनियमितता की जांच पूरी होने में डेढ़ वर्ष से अधिक का समय लगा है. इसके बाद इस साल के जनवरी महीने में प्रपत्र क गठित करने के लिए प्रस्ताव भेजा गया है. परंतु अब तक आरोपी पंचायत सचिव व जनसेवक के विरूद्ध यह प्रपत्र गठित नहीं हो सका है.
इन पंचायत सचिवों के विरूद्ध प्रपत्र क गठित
कास्ता पंचायत के शिशु धीवर,श्रीपुर पंचायत के महादेव पोद्दार, कुलडंगाल सुधीर महतो, फुटबेड़िया अमरेन्द्र कुमार झा, पांजुनिया के महेश कुमार सिन्हा, सालुका के होपना हेम्ब्रम, खैरा के रामकिशोर पंडित, नाला के सुखमय घोष, पाकुड़िया के विश्वजीत दूबे, बड़ारामपुर के राजेश मुर्मू, गेड़िया के दिलीप कुमार मंडल, धोबना के परमेश्वर रजक, मोरबासा के ढेना मरांडी एवं अफजलपुर के स्वर्ण मरांडी शामिल है.
क्या कहते हैं उपायुक्त
उपायुक्त फैज अक अहमद मुमताज ने कहा कि उप विकास आयुक्त से अब तक हुई कार्रवाई से संबंधित जानकारी प्राप्त की जा रही है.
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