Ranchi: झारखंड में 1 दिसंबर से धान खरीद की प्रक्रिया शुरू हो गयी है. राज्य के खाद्य आपूर्ति और वित्त मंत्री डॉ रामेश्वर उरांव ने कहा है कि राज्य में 15 फरवरी तक धान की खरीद जाएगी.
राज्य के खाद्य आपूर्ति और वित्त मंत्री डॉ. रामेश्वर उरांव ने बताया कि धान खरीद में लगे पदाधिकारियों को यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया गया है कि पूरी तरह से सूखने पर ही धान की खरीद हो और गीला धान को भी सूखने के बाद ही खरीदने की प्रक्रिया पूरी जाए. खाद्य आपूर्ति मंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने आगामी 15 फरवरी तक धान खरीदने का निर्णय लिया है, इसलिए उन किसानों को भी चिंता करने की कोई जरूरत नहीं है, जिनका धान अभी खेत-खलिहानों में पूरी तरह से सूख नहीं पाया है.
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डॉ उरांव ने कहा कि राज्य में धान की खरीद प्रक्रिया शुरू हो चुकी है और सरकार किसानों को उनके उपज का समुचित मूल्य दिलाने के लिए प्रयासरत हैं.उन्होंने बताया कि वर्ष 2020-21 के लिए धान खरीद 1868 रुपये प्रति क्विंटल (सामान्य धान का समर्थन मूल्य) निर्धारित किया गया है.
जबकि राज्य सरकार द्वारा 182 रुपये प्रति क्विंटल बोनस भी दिया जाएगा, इस प्रकार 2050 रुपये प्रति प्रति क्विंटल की दर से धान की खरीद की जाएगी. उन्होंने बताया कि इस वर्ष अच्छी बारिश के कारण धान की अच्छी खेती हुई है और यह उम्मीद की जा रही है कि पिछले वर्ष की तुलना में धान की अधिक खरीद हो सकेगी.
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खाद्य आपूर्ति मंत्री ने यह भी कहा कि इस बार धान खरीद के एवज में किसानों को धान की बिक्री के तीन दिन के अंदर ही 50 प्रतिशत राशि का भुगतान सुनिश्चित कर दिया जाएगा, शेष राशि भी जल्द ही किसानों के बैंक खाते में हस्तांतरित कर दिया जाएगा. उन्होंने बताया कि इस वर्ष अच्छी फसल होने के कारण रिकॉर्ड धान की खरीद होने की उम्मीद हैं.वहीं राज्य सरकार की ओर से बिचैलियों की भूमिका को समाप्त कर किसानों को अधिक से अधिक मुनाफा सुनिश्चित करने को लेकर भी आवश्यक कदम उठाए गये हैं.
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डॉ उरांव ने कहा कि राज्य सरकार किसानों की आय बढ़ाने के लिए लगातार योजनाएं बना रही है, पिछली सरकार में किसानों के पास खाद-बीज की कमी थी,लेकिन अब उस कमी को दूर कर लिया गया है और खाद की कालाबाजारी खत्म करने के लिए लगातार कार्य किये जा रहे हैं. समय पर खाद किसानों को उपलब्ध कराया जा रहा है.
राज्य के सभी किसानों से अपील की गई कि वे अपने धान की आर्द्रता की मापी करा लें. सभी जिलों में किसानों के धान की आर्द्रता की मापी हाइग्रोमीटर करने की व्यवस्था की गयी है. सभी निबंधित किसानों को अपने निबंधित मोबाईल नंबर पर एक एसएमएस प्राप्त होगा जिसके बाद ही उन्हें अपना धान लेकर धान विक्रय के लिए धान अधिप्राप्ति केंद्र पर तीन दिनों के भीतर पहुंचना है. धान की प्राप्ति के बाद आधी राशि तत्काल दी जायेगी. इसके 15 दिन से एक माह के भीतर कुल राशि 20.50 रूपये प्रति किलो की दर से किसानों के बैंक खाते में हस्तांतरित कर दी जायेगी.
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