Ranchi : नए सरकार के मंत्रियों ने कार्यभार संभाल लिया है. अपनी प्राथमिकता को लेकर रोज उनके बयान सामने आ रहे हैं. इसके साथ ही मंत्रियों ने अपने सहयोग के लिए आप्त सचिवों के नामों की अनुशंसा भी कर दी है. इस बीच सरकार ने फैसला लिया है कि किसी अधिकारी को मंत्री का आप्त सचिव बनाने से पहले उनका पुलिस वेरिफिकेशन होगा.
मंत्रियों ने जिनके नाम की अनुशंसा अपने आप्त सचिव के लिए किया है, उनमें उत्पाद मंत्री योगेंद्र प्रसाद ने राजमहल के एसडीओ कपिल कुमार की, परिवहन एवं राजस्व मंत्री दीपक बिरुआ ने रवि कुमार की, नगर विकास मंत्री सुदिव्य कुमार सोनू ने विनय प्रकाश तिग्गा की, कृषि मंत्री शिल्पी नेहा तिर्की ने मांडर के बीडीओ मनोरंजन कुमार की, आदिवासी कल्याण मंत्री चमरा लिंडा ने सिमडेगा के एसडीओ अनुराग लकड़ा की, ग्रामीण विकास मंत्री दीपिका पांडेय सिंह ने संदीप पांडेय के नाम की अनुशंसा की है.
उल्लेखनीय है कि पिछली सरकार ने कुछ आप्त सचिवों के कारण सरकार की किरकरी हुई थी. खास करके पूर्व ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम के आप्त सचिव संजीव लाल के मामले में. इस मामले में आलमगीर आलम अभी भी जेल में हैं. यही कारण है कि सरकार ने संबंधित अधिकारी के बारे में जांच परख करने के बाद ही आप्त सचिव बनाने का फैसला लिया है.