Jamshedpur : टीएमएच में इलाज कराने वाले 18 वर्षीय अभिषेक कुमार की मंगलवार को घर में मौत हो गई. इससे गुस्साए जोजोबेड़ा बस्ती के लोगों ने डॉक्टर पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए टीएमएच के इमरजेंसी के सामने जमकर हंगामा किया और तोड़फोड़ की. परिजनों का आरोप है कि डॉक्टर जयंत कुमार की लापरवाही के कारण अभिषेक की मौत हुई. जानकारी के अनुसार 12 जनवरी को जोजोबेड़ा निवासी अभिषेक कुमार लाफार्ज कंपनी की ट्रेन से गुड्डी उतारने के दौरान गिरकर घायल हो गया था. बस्तीवासियों ने उसे आपस में 20 हजार रुपए चंदा कर टीएमएच में भर्ती कराया था. 13 जनवरी को ऑपरेशन के बाद अभिषेक को 15 जनवरी को हॉस्पिटल से डिस्चार्ज कर दिया गया.
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डिस्चार्ज होने के दूसरे दिन अभिषेक को शरीर में दवा का साइड इफेक्ट होने लगा. वह दर्द से बेचैन हो गया. इसके बाद परिजनों ने उसे टीएमच में डॉक्टर को दिखाया. डॉक्टर ने कहा कि वह बिल्कुल ठीक है. उसे घर ले जाएं. लेकिन आज सुबह से ही दर्द बहुत अधिक होने लगा. थोड़ी देर बाद अभिषेक की मौत घर में ही हो गई. इसके बाद डॉक्टर पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए बस्तीवासियों ने अस्पताल परिसर में जमकर हंगामा किया.
दुर्घटना के बाद टीएमएच में डॉक्टर ने ऑपरेशन कर एक हाथ काट दिया था
टीएमएच में इलाज के दौरान ऑपरेशन में अभिषेक का एक हाथ काटना पड़ा था. उसके मामा ने बताया कि अभिषेक के पापा इस दुनिया में नहीं हैं. मां किसी तरह मजदूरी करके तीन बहनों और अभिषेक का पालन पोषण कर रही थी. इस घटना के बाद दिन रात एक करके बस्तीवासियों से चंदा कर हमने 2 लाख का खर्च वहन किया था. लेकिन डॉक्टरों की लापरवाही के कारण अभिषेक की मौत हो गई. उसे दोबारा दर्द हुआ तो हम भर्ती करने अस्पताल लेकर आए थे, लेकिन डॉक्टरों ने भर्ती नहीं किया और उसकी मौत हो गई. हम पैसे देने को तैयार थे. इतने बड़े ऑपरेशन के दूसरे दिन कैसे किसी अस्पताल से मरीज को छुट्टी दे दी गई.
टीएमएच ने सर्वोत्तम इलाज किया, उसकी जांच कर छुट्टी दी गई थी
मृतक के परिजनों के आरोप के संबंध में टाटा स्टील के कॉर्पोरेट सर्विसेज की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि जोजोबेड़ा निवासी अभिषेक कुमार के इलाज में टीएमएच की ओर से कोई लापरवाही नहीं की गई है. उसके रेलवे ट्रैक पर गिरने से कई गंभीर चोटें लगीं, जिसमें दाहिने ऊपरी और निचले अंगों में काफी गंभीर चोटें आई थीं. युवक को 12 जनवरी को टीएमएच में भर्ती कराया गया था. ऑर्थोपेडिक, सामान्य और प्लास्टिक सर्जनों द्वारा सर्वोत्तम चिकित्सा की गई थी. ओपीडी में प्रत्येक बुधवार और शनिवार को नियमित रूप से ड्रेसिंग करने की सलाह देकर युवक को 15 जनवरी को अच्छी स्थिति में टीएमएच से छुट्टी दे दी गई थी. 17 जनवरी को ओपीडी में ड्रेसिंग चेंज कराने आया था. मरीज ट्रॉमा इमरजेंसी में उसकी जांच की गई. वह बिल्कुल ठीक था. उसके घावों की आर्थोपेडिक और प्लास्टिक सर्जनों ने जांच कर ड्रेसिंग की. करीब दो घंटे बाद उन्हें इमरजेंसी से छुट्टी मिल गई. मरीज को आज दोपहर करीब 2.30 बजे टीएमएच इमरजेंसी में मृत लाया गया. इसके बाद उसके परिजन हंगामा करने लगे और टीएमएच में तोड़फोड़ कर संपत्ति को नुकसान पहुंचाया. मामले की सूचना बिष्टुपुर थाना में दी गई है. मृत्यु प्रमाण पत्र जारी किया गया और शव को शाम करीब 5.20 बजे मॉर्चरी में रखवा दिया गया है.