Ranchi : दीपावली बीतते ही अब छठ पूजा की तैयारियां शुरु हो गई है. इस बार 4 दिवसीय छठ महापर्व 18 नवंबर से शुरू होकर 21 नवंबर को उदीयमान सूर्य को अर्घ्य के बाद संपन्न होगा. मुख्य रुप से उत्तर भारत में छठ पर्व की धूम देखी जाती है, जहां बिहार, झारखंड, उत्तर प्रदेश, दिल्ली समेत अन्य राज्यों में व्रती भगवान सूर्य की उपासना करते हैं.
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छठ पूजा चतुर्थी तिथि को नहाय खाय से प्रारंभ होता है, फिर पंचमी को लोहंडा और खरना के दिन से भक्त व्रत धारण करते हैं. षष्ठी के दिन सूर्य देव की पूजा कर उन्हें अस्ताचलगामी अर्घ्य अर्पित किया जाता है. अगले दिन सप्तमी को सूर्योदय के समय उगते सूरज को अर्घ्य देकर और पारण करके व्रत खोला जाता है.
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कोरोना महामारी का छठ बाजारों पर दिख रहा असर
राजधानी रांची के बकरी बाजार स्थित दुर्गा मंदिर के पीछे लगने वाले छठ बाजार में हर वर्ष की तरह मंगलवार सुबह 6 बजे से ही ग्राहकों के लिए तैयार है. कोरोना का असर छठ बाजार पर भी नजर आ रहा है. दोपहर 12 बजे तक ग्राहकों की भीड़ में कमी नजर आई. बकरी बाजार के पास सूप और दौरी बेच रहे रवि कुमार ने बताया की ‘यहां बाजार में जहां पैर रखने को जगह नहीं होती थी आज महामारी के कारण बाजार में रौनक कम है.’
नये ढंग से दिया जाएगा अर्घ्य
राज्य सरकार द्वारा रविवार रात छठ महापर्व को लेकर दिशा निर्देश जारी किया, जिसमें छठ घाटों पर आयोजित होने वाले हर कार्यक्रम पर रोक लगा दी गयी है. जहां एक ओर सरकार द्वारा जारी गाइडलाइन का विरोध हो रहा है तो वहीं कुछ लोगों को सरकार का यह निर्णय उचित लगा. लोग अपने घरों पर ही अर्घ्य देने के लिए उपाय खोज रहे हैं.
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कचहरी के पास रहने वाली साधना पांडेय ने बताया की वो अर्घ्य देने अपर बाजार स्थित बड़ा तालाब जाया करती थीं पर इस बार वह घर के छत पर ही आर्टीफीसियल स्वीमिंग पूल में सूर्य देव को अर्घ्य देंगी.