Dhanbad : धनबाद (Dhanbad) जिले के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल एसएनएमएमसीएच में सीटी स्कैन घोटाले में आरोपी पदाधिकारी और कर्मचारियों पर एसीबी जल्द चार्जशीट दाखिल करेगी. एसीबी ने इस संबंध में एसएनएमएमसीएच प्रबंधन को पत्र लिखकर घोटाले के प्रमुख आरोपी में शामिल रहे लिपिक जयराम सिंह के बारे में जानकारी मांगी है. जयराम सिंह तीन साल पहले रिटायर हो गया है. एसीबी ने एसएनएमएमसीएच के तत्कालीन प्राचार्य व अधीक्षक डॉ. शरदचंद्र दास, क्लर्क योगेंद्र प्रसाद सिंह और जयराम सिंह के खिलाफ मामला दर्ज किया था. आरोपियों को झारखंड हाईकोर्ट से भी कोई राहत नहीं मिल पाई थी.
वर्ष 2004 में 1.63 करोड़ में खरीदी गई थी सीटी स्कैन मशीन
ज्ञात हो कि वर्ष 2004 में एसएनएमएमसीएच में 1.63 करोड़ रुपए की लागत से सीटी स्कैन मशीन लगाई गई थी. जांच में पता चला कि उस वक्त बाजार में मशीन की कीमत 70 लाख रुपए से भी कम थी. इसे दोगुनी कीमत पर खरीदा गया. मशीन छह महीने में ही खराब हो गई. जिस वक्त मशीन की खरीदारी की गई, उस समय संस्थान के पास रेडियोलाजिस्ट नहीं थे, न ही कोई प्रशिक्षित कर्मी ही था. कमीशनखोरी के चक्कर में आनन-फानन में मशीन खरीद ली गई थी. सरकार ने विभागीय जांच से संतुष्ट नहीं होने के बाद मामला एसीबी के हवाले कर दिया. 14 सितंबर 2016 को एसीबी ने मामले में प्राथमिकी दर्ज की. इसमें तत्कालीन अधीक्षक सहित 5 लोगों को आरोपी बनाया गया.
दोषियों पर होगी कार्रवाई : डीएसपी
एसबी, धनबाद के डीएसपी नितिन खंडेलवाल ने बताया कि सीटी स्कैन घोटाले में दोषी लोगों पर चार्जशीट दर्ज करने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है. जांच में जो भी दोषी मिले हैं, उन पर कार्रवाई की जाएगी.
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