- यूपी में भाजपा का बड़ा चेहरा माने जाते हैं लक्ष्मीकांत
- राज्यसभा में भाजपा के मुख्य सचेतक हैं
- उत्तर प्रदेश में भाजपा का प्रदेश अध्यक्ष भी रह चुके हैं
- चार बार विधायक और यूपी सरकार में मंत्री रहे हैं
- दीपक प्रकाश ने फोन कर वाजपेई को दी शुभकामना
Ranchi : मिशन 2024 को लेकर भाजपा में फेरबदल जारी है. भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने झारखंड समेत 15 राज्यों के लिए प्रभारी और सह प्रभारियों की नियुक्ति की है. झारखंड के प्रदेश प्रभारी दिलीप सैकिया को हटा दिया गया है. उनकी जगह उत्तर प्रदेश से राज्यसभा सांसद लक्ष्मीकांत बाजपेयी को प्रदेश प्रभारी का जिम्मा दिया गया है. वहीं भाजपा की राष्ट्रीय मंत्री और रांची की मेयर आशा लकड़ा पश्चिम बंगाल की सह प्रभारी बनाई गई हैं. पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव और मुख्यालय प्रभारी अरुण सिंह ने यह सूचना जारी की है. भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष दीपक प्रकाश ने फोन पर बात कर लक्ष्मीकांत बाजपेई को शुभकामना दी है.
लक्ष्मीकांत के नेतृत्व में 2014 में यूपी में भाजपा ने जीती थी 73 सीटें
71 साल के लक्ष्मीकांत बाजपेई उत्तर प्रदेश में भाजपा का बड़ा ब्राह्मण चेहरा माने जाते हैं. वे मेरठ से 4 बार विधायक रहे हैं. कल्याण सिंह, राजनाथ सिंह और राम प्रकाश गुप्ता की सरकारों में महत्वपूर्ण विभागों के मंत्री भी रहे चुके हैं. उत्तर प्रदेश में भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष भी रहे हैं. उनके प्रदेश अध्यक्ष रहते हुए ही भाजपा ने 2014 लोकसभा चुनाव में 73 सीटें जीती थीं. उन्होंने मुलायम सिंह यादव परिवार की बहू अपर्णा यादव, साढ़ू प्रमोद गुप्ता, रायबरेली की कांग्रेस विधायक अदिति सिंह समेत सपा के कई नेताओं को पार्टी में शामिल कराया था.
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1989 में मेरठ से पहली बार बने थे विधायक
बाजपेयी को पूर्व मुख्यमंत्री कल्याण सिंह का शिष्य बताया जाता है. उनके भाषणों में कल्याण सिंह की छाप झलकती है. बाजपेयी 14 साल की उम्र में जनसंघ से जुड़ गए थे. उन्हें 1977 में जनता पार्टी के यूथ विंग का अध्ययक्ष बनाया गया था. 1980 में भाजपा मेरठ के महासचिव बने. उत्तर प्रदेश भाजपा युवा मोर्चा के उपाध्यक्ष भी बने. 1989 में वह मेरठ की शहर सीट से पहली बार विधायक चुने गए. 1993 में वे चुनाव हार गए. 1996 में दूसरी बार एमएलए बने. 2002 में फिर चुनाव जीते और प्रदेश सरकार में मंत्री रहे, लेकिन 2007 के चुनाव में उन्हें हार का सामना करना पड़ा. 2012 में वह फिर विधायक बने. दिसंबर 2012 में भाजपा ने उन्हें उत्तर प्रदेश का अध्यक्ष बना दिया. इसके बाद वर्ष 2017 के विधानसभा में उन्हें फिर से निराशा हाथ लगी. चुनाव हारने के बाद करीब 3 साल तक वे सक्रिय राजनीति से दूर रहे थे.
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भाजपा के किस नेता को कहां की मिली जिम्मेदारी
बिहार में पार्टी महासचिव विनोद तावड़े को प्रभारी बनाया गया है, बिहार में सह प्रभारी की जिम्मेदारी पहले की तरह हरीश द्विवेदी ही संभालते रहेंगे. छत्तीसगढ़ का प्रभारी ओम माथुर और सह प्रभारी नितिन नवीन को बनाया गया है. त्रिपुरा के पूर्व सीएम बिप्लब कुमार देब को हरियाणा, विनोद सोनकर को दादरा और नगर हवेली एवं दमन और दीव का प्रभारी बनाया गया है. केरल का प्रभारी प्रकाश जावेड़कर को बनाया गया है. राधामोहन अग्रवाल को लक्षद्वीप के प्रभारी के साथ-साथ केरल के सह प्रभारी की जिम्मेदारी भी दी गई है. पी. मुरलीधर राव को मध्य प्रदेश का प्रभारी बनाया गया है और उनके साथ राज्य में दो नेताओं पंकजा मुंडे और रमाशंकर कठेरिया को सह प्रभारी बना कर लगाया गया है. विजय भाई रुपाणी को पंजाब और चंडीगढ़ का प्रभारी बनाया गया है. नरिंदर सिंह रैना को पंजाब का सह प्रभारी बनाया गया है. तेलंगाना का प्रभार तरूण चुग संभालेंगे और उनके साथ अरविंद मेनन को राज्य का सह प्रभारी बनाया गया है. राजस्थान के प्रभारी की जिम्मेदारी पहले की तरह ही अरुण सिंह संभालते रहेंगे और उनके साथ सह प्रभारी के तौर पर विजया राहटकर को लगाया गया है. महेश शर्मा को त्रिपुरा का प्रभारी बनाया गया है. पश्चिम बंगाल का जिम्मा प्रभारी बनाकर मंगल पांडेय को सौंपा गया है. अमित मालवीय पहले की तरह राज्य के सह प्रभारी बने रहेंगे. संबित पात्रा को नार्थ ईस्ट प्रदेश का संयोजक और रितुराज सिन्हा को सह संयोजक बनाया गया है.
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