Garhwa: सूर्य मंदिर कमिटी, सोनपुरवा के तत्वावधान में श्री श्री पंच सरोवर मंदिर प्राण प्रतिष्ठा सह पांच दिवसीय सूर्य महायज्ञ भव्य भंडारा के साथ संपन्न हो गया. महायज्ञ में स्वामी शम्भूनाथ मिश्रा ने मंत्रोच्चारण के साथ-साथ विधि विधान से पूजा अर्चना कर हवन का कार्य सम्पन्न कराया. स्वामी शम्भू नाथ मिश्रा ने अपने प्रवचन से वातावरण को भक्तिमय बना दिया. सूर्य महायज्ञ में सूर्य मंदिर कमिटी ने पूरे झारखंड में निषाद परिवार का नाम रौशन करने वाले पलामू के ही निवासी ए पति-पत्नी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ कुलदेव चौधरी व डेंटल सर्जन डॉ जुली कुमारी को सरकरी सेवा में कार्य करने पर अंगवस्त्र, मोमेंटो व पुष्पगुच्छ देकर सम्मानित किया. साथ ही बचनदेव चौधरी को अधिवक्ता बनने पर अंगवस्त्र देकर सम्मानित किया गया.
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नदी सरोवर के पानी में होते हैं औषधीय गुण : डॉ. कुलदेव चौधरी
सूर्य महायज्ञ की पूर्णाहुति के दिन बतौर मुख्य अतिथि के रूप में पहुँचे महर्षि वेदव्यास परिषद, झारखंड के प्रदेश कार्यकारी अध्यक्ष सह चिकित्सा पदाधिकारी डॉ कुलदेव चौधरी ने कहा कि भारत में मंदिरों के साथ साथ पवित्र सरोवर और नदियों को भी तीर्थ स्थल माना जाता है. कहा जाता है कि ऐसे जगहों पर स्नान करने से कष्ट दूर होते हैं. अलग-अलग राज्यों में स्थित ये पांच सरोवर हैं मान सरोवर, नारायण सरोवर, पुष्कर सरोवर, पम्पा सरोवर और बिंदु सरोवर के नाम से जाना जाता है. इसका संबंध सीधे किसी न किसी ऋषि महर्षि व देवी-देवताओं से जुड़ा है. यहां देवी-देवता, ऋषि-मुनि स्नान किया करते थे और निरोग रहते थे. यह लाखों लोगों के लिए आस्था का केन्द्र है. डॉ चौधरी ने बताया कि वैज्ञानिक दृष्टिकोण से पहाड़ों से निकलने वाली पानी बहुत सारी जड़ी-बूटियों से सम्पर्क होते हुए नदी या सरोवर तक पहुंचती है. यही कारण है कि स्नान करने से उसका औषधीय गुण प्राप्त होता है और कई बीमारियों को ठीक होते देखा गया है. इसी प्रकार सोनपुरवा में भी सोन नदी के तट पर पंच सरोवर मंदिर स्थापित करने पर समिति के लोगों के प्रति आभार व्यक्त किया और कहा कि आस्था के साथ पढ़ना लिखना भी बहुत जरूरी है. क्योंकि शिक्षा के माध्यम से ही अपने अधिकार को जानेंगे और बेहतर समाज बनाने का सपना देख सकते हैं. जब तक शिक्षा के बल पर सरकारी सेवा और राजनीति में भागीदारी नहीं होगी तब तक समाज मजबूत नहीं हो पायेगा.
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नसीब वालों को ही मिलता है महाप्रसाद : डॉ. कुलदेव चौधरी
भंडारा का उद्घाटन करने के बाद डॉ कुलदेव चौधरी ने कहा कि इस भंडारा को महाप्रसाद कहते हैं क्योंकि नसीब वाले लोगों को महाप्रसाद मिलता है. इसे आम भोजन न समझकर प्रसाद के रूप से लिया जाता है, जिससे मन को संतुष्टि मिलती है. सबसे बड़ी बात है कि इस तरह के भंडारा का आयोजन करने से आपसी भाईचारा स्थापित होता है तथा गरीबों-असहायों तक भोज्य पदार्थ पहुंचाने का माध्यम भी होता है. कार्यक्रम की अध्यक्षता रामाशीष चौधरी तथा मंच संचालन महर्षि वेदव्यास परिषद विद्वत प्रकोष्ठ के प्रदेश अध्यक्ष प्रेम चौधरी ने किया. मौके पर देवरी खुर्द के पूर्व मुखिया प्रतिनिधि रामाशंकर चौधरी, महर्षि वेदव्यास परिषद के उपाध्यक्ष प्रेमलाल चौधरी, डेंटल सर्जन डॉ जूली कुमारी, वीआईपी के प्रदेश महासचिव सह अधिवक्ता बचनदेव चौधरी, महर्षि वेदव्यास परिषद के युवा प्रकोष्ठ के प्रदेश अध्यक्ष सिकन्दर चौधरी, गढ़वा जिला अध्यक्ष रविन्द्र कुमार चौधरी, कोषाध्यक्ष संतोष चौधरी, उदय चौधरी, मनोज चौधरी, उद्देश्य चौधरी, सुदामा चौधरी, व्यास चौधरी सहित समिति के संयोजक राजेन्द्र चौधरी, सचिव बृजकिशोर चौधरी, उपाध्यक्ष श्यामकिशोर चौधरी, कोषाध्यक्ष मिंटू चौधरी, श्रद्धानंद प्रजापति, विकास पासवान, सुरेश पासवान, रामदेव चौधरी, शिक्षक सरयू चौधरी, त्रिवेणी चौधरी, शंकर मिश्रा, राजेन्द्र ठाकुर, विजय चौधरी, उषा देवी, अनिता देवी, रीता देवी आदि एवं हजारों श्रद्धालु उपस्थित थे.