Ghatshila (Rajesh Chowbey) : धालभूमगढ़ प्रखंड के कोकपाड़ा नरसिंहगढ पंचायत स्थित चारचक्का में सिंचाई नाला निर्माण में अनियमितता का मामला सही पाए जाने के बाद जिला प्रशासन ने कार्रवाई शुरू कर दी है. इस मामले में मुखिया विलासी सिंह व पंचायत सचिव हाड़ीराम दास के विरुद्ध धालभूमगढ़ थाना में एक मामला दर्ज किया गया है. दोनों पर सरकारी राशि का दुरुपयोग करने एवं गबन करने का आरोप है. इनके खिलाफ भादवि की धारा 406, 420, 409, 467, 68, 471, 341 के तहत प्राथमिकी दर्ज की गई है. शिकायत के अनुसार वर्ष 2017-18 में मनरेगा योजना के तहत बनने वाले सिंचाई नाला का निर्माण किए बगैर ही राशि की बंदरबाट कर ली गई थी.
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दोनों के विरुद्ध प्राथमिकी दर्ज, कार्रवाई जारी
इस मामले में शिकायत मिलने के बाद उपायुक्त के निर्देश पर डीपीआरओ ने जांच की थी. डीपीआरओ ने मुखिया व पंसस को 2,02,688 रुपये करके अलग-अलग राशि जमा करने का निर्देश दिया था. बीडीओ को राशि वसूली के साथ स्पष्टीकरण दस सितंबर तक जमा करने का निर्देश था. लेकिन आरोपियों ने पैसे जमा नहीं कराए. इसके बाद मुखिया विलासी सिंह और पंचायत सचिव हाड़ीराम दास के विरुद्ध बीडीओ सबिता टोपनो ने सरकारी राशि का दुरुपयोग एवं कुल राशि से 12 प्रतिशत ब्याज के साथ पैसा नहीं जमा करने पर धालभूमगढ़ थाना में प्राथमिकी दर्ज करने के लिए लिखित आवेदन दिया था. धालभूमगढ़ थाना प्रभारी अवनीश कुमार ने बताया कि मामला दर्ज कर आगे की कार्रवाई की जा रही है.
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4,80,000 से होना था सिंचाई नाला निर्माण
कोकपाड़ा नरसिंहगढ़ पंचायत के चारचक्का गांव में मनरेगा योजना के तहत 2017-18 में पक्की सिंचाई नाला निर्माण 4,80, 000 रुपए खर्च कर किया जाना था. नाला का निर्माण नहीं हुआ और वर्ष 2020 में मिलजुल कर जिम्मेदार अधिकारियों की मिलीभगत से पैसे की निकासी कर ली गई. यह नाला मूढाकाटी सीमा स्थित पुलिया से अशोक महतो की जमीन तक बनना था. इस योजना में पूरे पैसे की निकासी के बाद भी योजना कार्य नहीं हुआ एवं उन्हें पूर्ण दर्शा दिया गया। इसकी शिकायत सामाजिक अंकेक्षण टीम द्वारा मनरेगा लोकपाल को की गई थी. मनरेगा लोकपाल डॉ सनत महतो ने जांच करते हुए इस योजना में घोटाले की पुष्टि की थी. इसके बाद डीपीआरओ एवं कई पदाधिकारियों ने इसकी जांच की. 2020-21 में इस योजना को पूर्ण दिखाया गया.